आलाकमान का दखल: भाजपा के लिए टेंशन बन जाएगा त्रिपुरा? सीएम साहा से नाराज बड़े नेता
अगरतला
त्रिपुरा की भाजपा यूनिट में इन दिनों सब कुछ ठीक नहीं चल रहा है। मुख्यमंत्री माणिक साहा के काम करने के तरीके से कई नेता नाखुश हैं। ऐसे में भाजपा आलाकमान को दखल देना पड़ा। पार्टी में असंतोष लंबे समय से चल रहा था लेकिन दो सप्ताह पहले यह खुलकर बाहर आ गया। बीते दिनों पूर्व मुख्यमंत्री बिप्लव देव दिल्ली पहुंचे और उन्होंने शिकायत की। उनके अलावा कई अन्य नेताओं ने भी शिकायत की है।
कई नेताओं का कहना है कि साहा ने पुराने और वरिष्ठ नेताओं को साइडलाइन कर दिया है। अब इस असंतोष का हल निकालने की जिम्मेदारी संगठन महासचिव बीएल संतोष और उत्तरपूर्व के प्रभारी संबित पात्रा को दी गई है। बता दें कि भाजपा ने इसी साल 60 में से 32 सीटें जीतकर सत्ता में वापसी की है।
पार्टी के एक नेता ने कहा, जो लोग कई सालों से संगठन में हैं और वामपंथियों से लंबी लड़ाई लड़ी है उन्हें ही किनारे लगाया जा रहा है। पूर्व मुख्यमंत्री बिप्लव देव और केंद्रीय मंत्री प्रतिमा भौमिक के साथ राज्य में भाजपा के अध्यक्ष राजिब भट्टाचार्या को भी मुख्यमंत्री के रवैये से दिक्कत है। उन्होंने कहा कि बिना किसी जानकारी के अचानक भट्टाचार्या की सुरक्षा वापस ले ली गई। जानकारों का कहना है कि राज्य में हेल्थ कैंप को लेकर प्रशासन ने बिप्लव देव की मदद नहीं की ऐसे में नाराजगी और बढ़ गई।
राजनीति के जानकारों का कहना है कि पार्टी में यह असंतोष 2024 के चुनाव में असर दिखा सकता है। पावर गेम की वजह से भाजपा में यह असंतोष है। भाजपा दूसरी बार सरकार बनाने में कामयाब जरूर हुई लेकिन जमीनी स्तर पर यहां संगठन मजबूत नहीं है.। इसलिए पार्टी के अंदर यह मतभेद नुकसानदेय साबित हो सकता है।