जैविक खेती तथा कृषि विविधीकरण को बढ़ावा देने के प्रयास करें – कमिश्नर
खेती के विकास के लिए वास्तविक तथ्यों के आधार पर कार्य योजना बनाएं – कमिश्नर
रीवा
कमिश्नर कार्यालय में आयोजित संभागीय समीक्षा बैठक में कमिश्नर अनिल सुचारी ने कृषि तथा उससे जुड़े विभागों की योजनाओं की समीक्षा की। कमिश्नर ने कहा कि शासन द्वारा किसानों की आय में वृद्धि करने के लिए कई योजनाएं लागू की गई हैं। सिंचाई सुविधा में विस्तार, उन्नत बीज तथा उन्नत कृषि तकनीक का लाभ किसानों तक पहुंचाकर उनकी आय बढ़ाने में सहयोग करें। संभाग के सभी जिलों में बड़ी संख्या में लोगों की आजीविका खेती से जुड़ी हुई है।
खेती के विकास से इन सभी को सहूलियत होगी। परंपरागत खेती को आधुनिक बनाने के साथ-साथ जैविक खेती तथा कृषि विविधीकरण को बढ़ावा देने के प्रयास करें। मिलेट मिशन के तहत मोटा अनाज उत्पादन एवं प्राकृतिक खेती के लिए हजारों किसानों ने पंजीयन कराया है। इन्हें उचित प्रशिक्षण, समय पर उन्नत बीज तथा सही मार्गदर्शन देकर मोटे अनाज की खेती को बढ़ावा दें।
कमिश्नर ने कहा कि सभी जिलों में खेती के विकास के लिए तीन वर्षीय कार्य योजना बनाई गई है। इस कार्य योजना में कृषि की वर्तमान स्थिति, उपलब्ध संसाधन, किसानों की समस्याओं, कृषि विकास की योजनाओं तथा मौसम एवं जिलों की भौगोलिक स्थिति के अनुसार वास्तविक तथ्यों को शामिल करें। खेती के विकास से कई आयाम जुड़े होते हैं।
इन सभी को ध्यान में रखकर सही कार्य योजना तैयार करें। गेंहू तथा धान का रकबा कम करने के लिए इनसे अधिक लाभ देने वाली फसलों के बीज किसानों तक पहुंचाएं। पुरानी किस्मों के स्थान पर मक्का, ज्वार, कोदौ, कुटकी, उड़द, मूंग, अरहर आदि की अधिक उत्पादन देने वाली नवीनतम किस्मों के बीज किसानों तक पहुंचाएं।
कमिश्नर ने कहा कि आगामी बैठक के सभी एजेण्डा बिन्दुओं की अद्यतन जानकारी प्रस्तुत करें। इसमें संभाग के सभी जिलों में कृषि, उद्यानिकी, मछली पालन, पशुपालन तथा सहकारिता के क्षेत्र में प्राप्त सफलताओं का भी उल्लेख करें। पूरे संभाग में सब्जी, फल और मसालों का अच्छा उत्पादन हो रहा है। रीवा जिले के सुंदरजा आम को हाल ही में जियो टैगिंग मिली है। संभाग का दुग्ध उत्पादन भी प्रदेश के औसत से अधिक है। उपायुक्त सहकारिता फसल ऋणों की वसूली के लिए विशेष प्रयास करें।
रीवा जिले में सहकारी बैंक द्वारा अच्छी वसूली की गई है। सतना और सीधी में वसूली के लिए अभियान चलाएं। कृषि विभाग तथा पशुपालन विभाग के किसान क्रेडिट कार्ड के प्रकरण बड़ी संख्या में बैंकों में लंबित हैं। इन्हें स्वीकृत कराकर किसानों को लाभान्वित करें। मछली पालक किसानों को लक्ष्य से अधिक किसान क्रेडिट कार्ड प्रदान करके सराहनीय कार्य किया गया है।
बैठक में कमिश्नर ने मछली पालन के क्षेत्र में विस्तार, कस्टम हायरिंग सेंटर की गतिविधियों से किसानों को जोड़ने, पशुओं के टीकाकरण, गौशाला निर्माण, नरबाई प्रबंधन के लिए सुपर सीडर यंत्र के प्रचार-प्रसार के निर्देश दिए। बैठक में संयुक्त आयुक्त निलेश परीख, उपायुक्त सहकारिता अशोक शुक्ला, उप संचालक पशुपालन डॉ राजेश मिश्रा, महाप्रबंधक जिला सहकारी बैंक ज्ञानेन्द्र पाण्डेय, सहायक संचालक कृषि प्रीति द्विवेदी, उप संचालक मछली पालन, उप संचालक दयाशंकर सिंह तथा संबंधित अधिकारी उपस्थित रहे।