40 एकड़ में बनेगा बाजरा रिसर्च सेंटर, गुड़ामालानी में 27 सितंबर को उपराष्ट्रपति रखेंगे नींव
गुड़ामालानी
27 सितंबर को उपराष्ट्रपति जगदीप धनकड़ संसदीय क्षेत्र बाड़मेर के गुड़ामालानी आएंगे। जहां केंद्र सरकार की ओर से स्वीकृत बाजार अनुसंधान संस्थान का भूमि पूजन करके शुभारंभ करेंगे। 40 एकड़ भूमि में बनने वाले संस्थान के लिए केंद्र सरकार ने वित्तीय राशि स्वीकृत की है।
केंद्रीय कृषि और किसान कल्याण राज्य मंत्री और बाड़मेर के स्थानीय सांसद कैलाश चौधरी के प्रयासों से संसदीय क्षेत्र बाड़मेर के गुड़ामालानी में आईसीएआर के राष्ट्रीय स्तर के बाजरा अनुसंधान संस्थान खोलने की स्वीकृति सहित सारी प्रक्रिया पूरी हो गई है। आगामी 27 सितंबर को उपराष्ट्रपति जगदीप धनकड़, केंद्रीय कृषि और किसान कल्याण मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर, केंद्रीय जल शक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत भूमि पूजन करके इसका शुभारम्भ करेंगे। 40 एकड़ भूमि में बनने वाले इस संस्थान के लिए केंद्र सरकार ने वित्तीय स्वीकृति दी है।
केंद्रीय कृषि राज्य मंत्री कैलाश चौधरी ने बताया कि भारत सरकार वर्ष 2023 को अंतर्राष्ट्रीय मिलेटस ईयर के रूप में मना रही है। इसके लिए भारतीय मिलेटस जिसे मोटा अनाज भी कहा जाता है। केंद्र सरकार ने इसे श्रीअन्न का भी नाम दिया है। श्री अन्न में मुख्य रूप से बाजरा, ज्वार, रागी, कुटकी इत्यादि शामिल है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व और भारत की पहल पर ही संयुक्त राष्ट्र संघ द्वारा मोटा अनाज को इंटरनेशनल मिलेटस ईयर के रूप में मनाने और इसे आमजन द्वारा अधिकाधिक अपने भोजन की थाली में शामिल करके बढ़ावा देने को लेकर सहमति बनी।
केंद्र सरकार मोटे अनाज को दे रही बढ़ावा
केंद्रीय कृषि राज्य मंत्री कैलाश चौधरी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में केंद्र सरकार की ओर से मोटा अनाज या श्रीअन्न को देश दुनिया में बढ़ावा देने के लिए बजट 2022-23 में विभिन्न सराहनीय कदम उठाये गए। बजट के दौरान आईसीएआर-आईआईएमआर, हैदराबाद को बाजरा के लिए वैश्विक केंद्र बनाने की घोषणा की गयी। मोटा अनाज या श्रीअन्न में भी बाजरा सबसे महत्वपूर्ण खाद्यान माना जाता है। इसे सर्वाधिक 4.1 मिलियन हेक्टेयर क्षेत्र में उगाया जाता है। राजस्थान में देश का सर्वाधिक 57 प्रतिशत बाजरे की खेती होती है।