गडकरी बोले वोट देना हो तो दो, चुनाव में चाय तक नहीं पिलाऊंगा
वाशिम
बेबाक बयानबाजी के मशहूर बीजेपी नेता नितिन गडकरी ने लोकसभा चुनाव से पहले बड़ा ऐलान कर दिया है। महाराष्ट्र के वाशिम जिले में सड़क का उद्घाटन करने पहुंचे केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने लोगों के सामने चुनाव खर्च पर दो टूक राय रखी। उद्घाटन कार्यक्रम में उन्होंने कहा कि इस बार लोकसभा चुनाव में वह प्रचार के लिए पोस्टर-बैनर नहीं लगाएंगे। अगले चुनाव में पोस्टर-बैनर नहीं लगाऊंगा। इस बार चुनाव में लक्ष्मी दर्शन भी नहीं होंगे, माल-पानी भी नहीं दूंगा। चाय-पानी भी नहीं कराऊंगा मगर प्रमाणिक तौर पर ईमानदारी सेवा करूंगा। चुनाव में वोट के लिए पैसा भी नहीं दूंगा। मैंने एक पैसा खाया नहीं इसलिए खाने भी नहीं दूंगा। जिन्हें वोट देना है वो दें, नहीं तो न दें। उन्होंने कहा कि राजनीति करने के लिए झूठ बोलने की जरूरत नहीं है। नितिन गडकरी का यह बयान अब काफी वायरल हो रहा है।
2014 में कांग्रेस से छीनी थी नागपुर सीट
नितिन गडकरी बीजेपी के ऐसे नेताओं में शुमार हैं, जिनकी काम की तारीफ उनके विरोधी भी करते हैं। संसद में भी सांसदों ने खुले तौर पर उनकी तारीफ करते हुए कहा था कि गडकरी विचाराधारा से हटकर देश के लिए काम कर रहे हैं। पिछले दिनों बिहार के डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव भी मुलाकात के बाद गडकरी की ईमानदारी के कायल हो गए। नितिन गडकरी पिछले दो लोकसभा चुनावों में नागपुर के सांसद चुने गए। 2014 में उन्होंने कांग्रेस के विलास मुत्तेमवार को करीब 3 लाख वोटों से हराया था। विलास मुत्तेमवार 1998 से 2009 के बीच हुए आम चुनावों में लगातार नागपुर सीट पर जीत दर्ज की थी।
नागपुर लोकसभा सीट कांग्रेस का गढ़ था। नितिन गडकरी से पहले 1996 में बीजेपी इस सीट पर पहली बार जीत दर्ज की थी। 2019 में गडकरी ने कांग्रेस से कद्दावर नेता नाना पटोले को शिकस्त दी थी। नाना पटोले कई बार गडकरी को अपना राजनीतिक गुरु बता चुके हैं।
इससे पहले जुलाई में नितिन गडकरी ने एक किस्सा सुनाते हुए कहा था कि उन्होंने एक बार चुनाव के दौरान मतदाताओं को मटन उपलब्ध कराया था, लेकिन फिर भी वह हार गए। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि मतदाताओं के प्रति विश्वास और प्यार पैदा करके चुनाव जीता जा सकता है।
गडकरी ने कहा कि मतदाता बहुत होशियार हैं और उन्हें हर उम्मीदवार से चुनावी सौगात मिली है। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि लोग उसी उम्मीदवार को वोट देते हैं जो उन्हें लगता है कि उनके लिए सही है। गडकरी ने कहा, "लोग अक्सर पोस्टर लगाकर और चुनावी उपहार देकर चुनाव जीतते हैं। हालांकि मैं ऐसी रणनीतियों में विश्वास नहीं करता हूं। मैंने एक बार एक प्रयोग किया था और मतदाताओं को एक किलो मटन दिया था, लेकिन हम चुनाव हार गए। मतदाता बहुत स्मार्ट हैं।"
आपको बता दें कि नितिन गडकरी ने 2014 और 2019 में नाहपुर सीट से लोकसभा का चुनाव जीता था।
बेबाक बोल के कारण चर्चित रहते हैं गडकरी
नितिन गडकरी अपने बेबाक बोल के कारण चर्चित रहे हैं। हाल ही में उन्होंने कहा कि अगले तीन महीने में देश के सभी हाइवे पर गाड़ी मक्खन की तरह चलेगी। उन्होंने कहा कि इस साल के अंत तक 1.46 लाख किलोमीटर हाइवे के गड्ढे भरे जाएंगे। इस दौरान उन्होंने खुली चेतावनी दी कि अगर दिसंबर के बाद हाइवे के रास्ते में क्रैक मिला तो ठेकेदार को बुलडोजर के सामने डालूंगा। जुलाई 2023 में उन्होंने मुंबई के एक कार्यक्रम में अपने ही सरकार को निशाने पर ले लिया था।
तब नितिन गडकरी ने कहा कि सरकारें समय पर फैसले नहीं लेती। राजनीति अब सत्तानीति हो गई है, इसका लोक कल्याण से लेना-देना नहीं रह गया है। ऐसा देखकर लगता है कि राजनीति से सन्यास ही ले लिया जाए। मार्च 2023 में भी उन्होंने देश की राजनीति पर बड़ा बयान दिया था। तब नितिन गडकरी ने कहा था कि वह देश में जैव ईंधन को लेकर प्रयोग कर रहे हैं। अगर लोगों को पसंद आए तो ठीक वरना वोट मत देना। उन्होंने खुले शब्दों में कहा था कि वह पॉपुलर पॉलिटिक्स के लिए ज़्यादा मक्खन लगाने के लिए तैयार नहीं हैं।