November 25, 2024

उम्मीद में रहीं सपा-बसपा-आप, मैदान छोड़ गए 6 अधिकृत उम्मीदवार

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भोपाल

मध्यप्रदेश में हो रहे विधानसभा चुनावों में तीसरे मोर्चे की भूमिका में रहने वाली बसपा, सपा, आप और गोंगपा सहित कई प्रमुख राजनीतिक दलों ने इस बार इस मंशा से उम्मीदवारों को टिकट दिए थे कि वे ना केवल चुनाव मैदान में डटे रहेंगे बल्कि चुनाव जीतकर सत्ता में भागीदारी भी करेंगे। लेकिन पार्टी के उम्मीदों पर कई उम्मीदारों ने पानी फेर दिया। राजनीतिक दलों और निर्दलीय उम्मीदवारों सहित लगभग 392 उम्मीदवारों ने मैदान छोड़ दिया।

मध्यप्रदेश में विधानसभा चुनावों के लिए कुल 4277 उम्मीदवारों ने नामांकन पत्र दाखिल किए थे। इनमे भाजपा-कांग्रेस, सपा-बसपा समेत विभिन्न दलों के उम्मीदवार शामिल हुए। नामांकन पत्रों में कमियों की वजह है 536 उम्मीदवारों के नामांकन पत्र निरस्त हो गए। सबसे खास बात यह है कि इस बार पूरे दमखम के साथ मैदान में उतरने वाली आम आदमी पार्टी के सर्वाधिक नामांकन पत्र निरस्त हुए हैं।

काम आया दिग्गजों का मान-मनौव्वल
2 नवंबर को नाम वापसी का आखिरी तारीख थी। भाजपा- कांग्रेस के उम्मीदवारों और पार्टी नेताओं ने मान-मनोव्वल कर कई बागियों को मैदान से हटाया तो कई अन्य दलों के उम्मीदवार और निर्दलीय उम्मीदवारों को भी मैदान से हटने को मजबूर कर दिया। पिछले विधानसभा चुनाव में मध्यप्रदेश से बसपा और सपा के उम्मीदवार भी चुनाव जीते थे। इस बार भी इन दलों ने पूरा जोर लगाया था और प्रदेश के अधिकांश विधानसभा सीटों पर अपने उम्मीदवार घोषित किए थे। जबेरा से बसपा उम्मीदवार के रूप में नामांकन दाखिल करने वाली रजनी ठाकुर और देवास से इसी पार्टी के उम्मीदवार रवीन्द्र बोडाना ने अपना नामांकन वापस ले लिया है। वहीं बिजावर से समाजवादी पार्टी की उम्मीदवार बनी रेखा यादव ने मैदान छोड़ दिया है। शिवसेना से सुवासरा विधानसभा से चुनाव लड़ने वाले शांतिलाल ने भी अपना नामांकन वापस ले लिया। आम आदमी पार्टी के भी दो उम्मीदवार मैदान छोड़ चुके हैं। इनमें मुड़वारा से मुकेश मिश्रा और इंदौर तीन से हाजी नासिर खान शामिल है। वहीं रिटायर्ड आइएएस वरदमूर्ति मिश्रा द्वारा बनाई गयी वास्तविक भारत पार्टी के भी दो उम्मीदवार मैदान से हट गए हैं। इनमें बासौदा से किरण देवी कुशवाहा और शमसाबाद से धनराज सिंह कुशवाह शामिल है।

त्रिपाठी को भी लगा झटका
बार-बार दल बदलने वाले नारायण त्रिपाठी को जब इस बार भाजपा ने टिकट नहीं दी तो उन्होंने विंध्य जनता पार्टी का गठन करते हुए प्रदेश के कई स्थानों से उम्मीदवार खड़े कर दिए। लेकिन उनकी पार्टी के भी कुछ उम्मीदवारों ने मैदान छोड़ दिया। इसमें भोपाल के  दक्षिण-पश्चिम विधानसभा क्षेत्र से मनीष पांडे और महू से वैद्यनाथ मिश्रा ने मैदान छोड़ दिया।  तीसरे मोर्चे में शामिल प्रमुख दल गोंगपा से 5 उम्मीदवारों ने ऐन वक्त पर नामांकन वापस ले लिया था।

पार्टियों के ही नहीं हुए नेता
इन प्रमुख राजनीतिक दलों के अलावा और भी कई दलों के उम्मीदवार चुनाव लड़ने से पहले मैदान छोड़ गए। इन दलों में जनता कांग्रेस, नेशनल जागरण पार्टी, आल इंडिया फारवर्ड ब्लॉक, अखिल भारत आरक्षित समाज पार्टी, आजाद समाज पार्टी काशीराम, स्वाभिमान पार्टी जनसेवा ड्राइबर पार्टी, जन अधिकार पार्टी, ऑल इंडिया मजलिस इत्तेहादुल मुस्लिमीन, इस्मार्ट इंडियन पार्टी, अखिल भारतीय गोंडवाना पार्टी, जनसेवा गोंडवाना पार्टी, नवोदय जनतांत्रिक पार्टी, राष्ट्रीय गोंडवाना पार्टी, पीपुल्स रिपब्लिकन पार्टी, राष्टÑीय धर्मनिरपेक्ष नवभारत पार्टी, जयलोक पार्टी और नेशनल वर्ल्ड लीडर पार्टी के उम्मीदवारों ने भी अपना नामांकन पत्र वापस ले लिया ।

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