November 26, 2024

लोक निर्माण विभाग : सरकारी संपत्तियों का क्वॉलिटी कंट्रोल करेगी प्राइवेट एजेंसियां

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भोपाल
लोक निर्माण विभाग अब सरकारी महकमों की सम्पत्तियों के संधारण वहां विशेष मरम्मत के काम कराने के लिए सुपरविजन एवं क्वालिटी कंट्रोल एजेंसियों की तैनाती करेगा। सरकारी महकमें इनकी मदद से अपने यहां गुणवत्तापूर्ण कार्य करवा सकेंगे। लोक निर्माण विभाग सक्षम एजेंसियों को सुपरविजन एवं क्वालिटी कंट्रोल के रूप में इंपैनल्ड करेगा। इन इंपैनल्ड एजेंसियों में से सरकारी विभाग एक या अधिक एजेंसियों से आवश्यकतानुसार अनुबंध कर सकेंगे।

विशेष मरम्मत के कामों की लागत के आठ प्रतिशत राशि इन एजेंसियों से काम कराने के लिए खर्च की जा सकेगी। विशेष मरम्मत के कार्य अधिक होने पर संबंधित विभाग कंसलटेंट अनुबंधित करने के लिए लोक निर्माण विभाग द्वारा बिल्डिंग मेन्टेनेंस कंसलटेंट (बीएमसी)  सेवाओं के लिए कंसलटेंट का इंपैनलमेंट किया जाएगा जिसके लिए लोक निर्माण विभाग के परिक्षेत्रीय मुख्य अभियंता लोक निर्माण विभाग को अधिकृत किया गया है।

ऐसे मिलेगी कंसलटेंसी सेवाएं
किसी भी सरकारी विभाग के भवन प्रभारी का पत्र मिलने के बाद कंसलटेंसी एजेंसी भवन, स्थल का निरीक्षण कर संधारण की आवश्यकताओं को भवन प्रभारी को बताएंगे और संधारण कामों के लिए उपलब्ध राशि को ध्यान में रखते हुए काम कराए जाने के लिए प्राक्कलन तैयार करेंगे। संबंधित विभाग के निर्देश पर जिले में उपलब्ध तकनीकी विभाग, निगम, मंडल, शासकीय संस्था से समन्वय स्थापित कर सक्षम अधिकारी से तकनीकी स्वीकृति प्राप्त करेंगे। इसके बार निविदा संबंधी काम हेतु आवश्यक सहयोग प्रदान करेंगे। निर्माण एजेंसी का निर्धारण होंने के बाद अनुबंध के अनुसार कार्य को संपादित कराएंगे। कंसलटेंट द्वारा संधारण कार्यो का पर्यवेक्षण  उनके द्वारा नियुक्त इंजीनियर्स द्वारा समय-समय पर आवश्यकतानुसार कराया जाएगा।

सभी कार्यों का रिकॉर्ड होगा मैंटेन
निर्माण कार्यो के लिए प्रचलित आईएस कोड, सीपीडब्ल्यूडी स्पेसिफिकेशन में निर्धारित  मापदंड अनुसार सभी सामग्री के परीक्षण एवं किये जा रहे कामों की गुणवत्ता को नियंत्रित करेंगे। कामों की गुणवत्ता निर्धारित मापदंड अनुसार हो यह सुनिश्चित करेंगे। निर्माण एजेंसी द्वारा किए जा रहे कामों के बिल तैयार कर संबंधित भुगतान हेतु भवन प्रभारी के माध्यम से सक्षम अधिकारी को प्रस्तुत करना होगा। कंसलटेंट द्वारा प्रत्येक कार्य के रिकार्ड का संधारण करना होगा एवं अंतिम देयक के साथ सभी रिकार्ड भवन प्रभारी को प्रस्तुत करेंगे। संधारण कार्य पूर्ण होंने पर कंसलटेंट कंपलीशन रिपोर्ट जारी करेंगे और सभी माप पुस्तिका, कम्पलीशन ड्राइंग एवं अन्य अभिलेख अंतिम बिलों के साथ संबंधित विभाग को प्रस्तुत करने के बाद ही अंतिम बिलों का भुगतान किया जाएगा।

ये बन सकेंगे कंसलटेंट
जिस कंसलटेंसी फर्म का कंसलटेंसी कामों के लिए पिछले तीन वर्षो का औसत वार्षिक टर्न ओवर कम से कम पचास लाख रुपए वार्षिक हो। लीड पर्सन की न्यूनतम शैक्षणिक योग्यता सिविल इंजीनियरिंग में स्नातक हो और लीड पर्सन का अनुभव कम से कम पांच वर्ष पूर्व का होना चाहिए। एकल प्रोपाईटर  एवं फर्म कंपनी प्राइवेट लिमिटेड एलएलपी इंपैनलमेंट के लिए पात्र होंगे। फर्म या लीड पर्सन को किसी भी शासकीय विभाग, पब्लिक सेक्टर में ब्लैक लिस्ट नहीं होना चाहिए इसके लिए आवेदन पत्र के साथ शपथ पत्र भी देना होगा। फर्म के स्थापना का पंजीयन दुकान एवं स्थापना अधिनियम के तहत होना चहिए और फर्म का जीएसटी में पंजीयन होना चाहिए।

कंसलटेंसी फर्म को इस तरह दिया जाएगा काम
मुख्य अभियंता ईओआई के माध्यम से इंपैनल किए गए बीएमसी कंसलटेंट से सभी विभाग संधारण संबंधित कामों को करा सकेंगे।

कंसलटेंसी सेवाओं की समीक्षा भी होगी
तकनीकी विभाग के इंजीनियर जिन्होंने तकनीकी स्वीकृति दी हो वे कामों के निरीक्षण के दौरान दिए गए निर्देशों का पालन कराएंगे। कंसलटेंट को प्रशासकीय विभाग एवं तकनीकी विभाग से समन्वय कर कार्य संपादित करना होगा।

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