जनजातीय मद के कार्यों की नियमित निगरानी हो : राज्यपाल पटेल
भोपाल
राज्यपाल मंगुभाई पटेल ने कहा है कि जनजातीय समुदाय के लिए नियत राशि का उपयोग उनके कल्याण कार्यों में ही हो। राशि के उपयोग की सूक्ष्म निगरानी हो। इसकी नियमित व्यवस्था की जाए। योजनाओं की भौतिक और वित्तीय उपलब्धियों की मासिक जानकारी संकलित की जानी चाहिए। उन्होंने इस कार्य में आधुनिक सूचना प्रौद्योगिकी का उपयोग करने के निर्देश दिए हैं।
राज्यपाल पटेल राजभवन में जनजातीय क्षेत्रीय विकास योजनाओं की समीक्षा बैठक को संबोधित कर रहे थे। पटेल ने जनजातीय कार्य विभाग, वित्त, कृषि, सहकारिता और ग्रामीण विकास विभाग के जनजातीय मद से संचालित योजनाओं के संबंध में अधिकारियों के साथ चर्चा की। उनको आवश्यक दिशा-निर्देश दिए।
राज्यपाल पटेल ने कहा कि अनुसूचित जनजातीय क्षेत्रों में शासन की योजनाओं के दिशा निर्देशों में परिवर्तन और परिवर्धन किया जाना चाहिए। राज्यपाल पटेल ने कहा कि वंचित वर्ग और पिछड़ों का उत्थान शासन की प्राथमिकता है। अनुसूचित जनजाति क्षेत्र में सबसे पीछे, सबसे पहले के भाव से कार्य किए जाएँ। उन्होंने अधिकारियों से अपेक्षा की है कि कल्याणकारी और विकास योजनाओं से लाभान्वित जनजातीय हितग्राहियों के संबंध में पृथक से आँकड़े संकलित किए जाएँ। उनके हित संरक्षण को सर्वोच्च प्राथमिकता दी जाए।
जनजातीय प्रकोष्ठ के अध्यक्ष दीपक खांडेकर, अपर मुख्य सचिव कृषि अजीत केसरी, प्रमुख सचिव सहकारिता के.सी. गुप्ता, प्रमुख सचिव लोक निर्माण नीरज मंडलोई, प्रमुख सचिव जनजातीय कार्य डॉ. पल्लवी जैन गोविल, राज्यपाल के प्रमुख सचिव डी.पी. आहूजा, प्रमुख सचिव पंचायत एवं ग्रामीण विकास उमाकांत उमराव, सचिव वित्त ज्ञानेश्वर बी. पाटिल और जनजातीय प्रकोष्ठ के सदस्य सचिव बी.एस. जामोद और प्रकोष्ठ के अन्य सदस्य सहित संबंधित विभागों के वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे।