November 22, 2024

बिहार के के सरकारी स्कूलों में अध्ययनरत करीब 25 लाख ऐसे बच्चे हैं, जिनके आधार कार्ड नहीं बने, बढ़ेगी परेशानी

0

पटना
बिहार के के सरकारी स्कूलों में अध्ययनरत करीब 25 लाख ऐसे बच्चे हैं, जिनके आधार कार्ड नहीं बने हैं। आधार संख्या की प्रविष्टि ई-शिक्षा कोष पोर्टल पर भी अपलोड नहीं है। ऐसे में इनके परमानेंट एजुकेशन नंबर जनरेट करने और अपार कार्ड बनाने में भी समस्या आएगी। शिक्षा मंत्रालय ने सभी बच्चों को वन नेशन वन आईडी के तहत अपार आईडी कार्ड अनिवार्य किया है। अपार आईडी कार्ड बनाने के लिए आधार कार्ड जरूरी है। बिहार शिक्षा परियोजना परिषद की ओर से अपार कार्ड बनाने के लिए सभी डीईओ को कहा गया है। जिन बच्चों का ई-शिक्षा कोष पोर्टल पर आधार की प्रविष्टि हो गई है, उन बच्चों के आधार की प्रविष्टि यू-डायस पोर्टल पर भी करवानी है। ऐसे में जिन बच्चों के पास आधार नहीं है उनका अपार कार्ड बनाना विद्यालयों के लिए बड़ी चुनौती होगी।

जन्म प्रमाण-पत्र नहीं होने से आधार बनाने में दिक्कत बच्चों का आधार कार्ड बनाने में उनका जन्म प्रमाण पत्र बाधक बन रहा है। जन्म प्रमाण पत्र नहीं बने होने से आधार कार्ड नहीं बन पा रहा है तो दूसरी ओर अभिभावकों की उदासीनता के कारण भी आधार कार्ड नहीं बन सका है। सरकार की ओर से राज्य के हर प्रखंड के दो स्कूलों में बच्चों का आधार कार्ड बनाने का काम चल रहा है। बावजूद इसके बच्चों का आधार कार्ड बनवाने में अभिभावक उदासीनता दिखा रहे हैं।

अपार कार्ड बनाने के लिए 25 तक चलेगा अभियान
अपार यानी स्वचालित स्थायी शैक्षणिक रजिस्ट्री (ऑटोमेटेड परमानेंट अकादमिक रजिस्ट्री) है। यह आधार कार्ड की तरह 12 अंकों होगा। यह एक तरह का डिजिटल आईडी कार्ड है जो बचपन से लेकर पढ़ाई खत्म होने तक एक ही रहेगा। इसमें शैक्षिक रिकॉर्ड, शैक्षिक उपलब्धियों और शिक्षा संबंधित अन्य सारी जानकारी ऑनलाइन रहेंगी। बिहार शिक्षा परियोजना परिषद ने गुरुवार से जिला, प्रखंड, संकुल और विद्यालय स्तर पर बच्चों का अपार कार्ड बनाने का अभियान शुरू करने का आदेश 16 नवंबर को निकाला था। गुरुवार से विभिन्न स्तरों पर अपार कार्ड बनाने का काम शुरू हो गया है। यह अभियान 25 नवंबर तक चलेगा।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *