पंजाब: GST कलेक्शन में रिकार्ड वृद्धि, पहली बार 6 माह में 10000 करोड़ का आंकड़ा पार
चंडीगढ़
पंजाब ने वर्तमान वित्त वर्ष की इस तिमाही में रिकार्ड जीएसटी की वसूली की है। वित्त मंत्री हरपाल सिंह चीमा ने कहा कि राज्य ने चालू वित्त वर्ष में 10604 करोड़ रुपये जीएसटी के तौर पर वसूले हैं। यह पहली बार है कि जीएसटी वसूली 10 हजार के पार हुई है।
वित्त मंत्री ने कहा कि राज्य में चालू वित्त वर्ष के दौरान जीएसटी वसूली में 22.6 प्रतिशत का विस्तार दर्ज किया गया है। उन्होंने कहा कि पिछले वित्त वर्ष के पहले छह महीनों के दौरान 8650 करोड़ रुपये की जीएसटी वसूली हुई थी, जबकि मौजूदा साल के दौरान राज्य ने कुल 10604 करोड़ रुपये की जीएसटी वसूली के साथ 1954 करोड़ रुपये और कमाए हैं।
आंकड़ों में समझें वृद्धि
माह 2021 2022 वृद्धि वृद्धि (%)
अप्रैल 1924.00 1994.00 70.00 3.64%
मई 1266.00 1833.00 567.00 44.79%
जून 1111.00 1683.00 572.00 51.49%
जुलाई 1533.00 1733.00 200.00 13.05%
अगस्त 1414.00 1651.00 237.00 16.76%
सितंबर 1402.00 1710.00 308.00 21.97%
कुल 8650.00 10604.00 1954.00 22.59%
22 फीसदी रही वृद्धि दर
सितंबर 2022 के जीएसटी के आंकड़ों का खुलासा करते हुए हरपाल सिंह चीमा ने कहा कि राज्य ने 22 प्रतिशत की विकास दर दर्ज की है। उन्होंने कहा कि सितंबर 2021 में 1402 रुपये के कलेक्शन के मुकाबले इस साल सितंबर में जीएसटी कलेक्शन 1710 करोड़ रुपये रही।
20,550 करोड़ रुपये की जीएसटी वसूली का अनुमान
वित्त मंत्री ने कहा कि मुख्यमंत्री भगवंत मान के नेतृत्व वाली पंजाब सरकार ने वित्त वर्ष 2022-23 के लिए अपने पहले बजट में 20,550 करोड़ रुपये की जीएसटी वसूली का अनुमान लगाया है। वित्त मंत्री ने कहा कि राज्य ने पहले छह महीनों में 50 प्रतिशत से अधिक की प्राप्ति की है और आने वाले त्योहारों के सीजन के दौरान जीएसटी की वसूली में अच्छे वृद्धि की उम्मीद है।
पंजाब गुड्स एंड सर्विसिज टैक्स ( संशोधन) बिल से होगा फायदा
चीमा ने कहा कि राज्य सरकार ने जाली बिलिंग को रोकने के साथ-साथ सभी खामियों को दूर करने के लिए पंजाब गुड्स एंड सर्विसिज टैक्स ( संशोधन) बिल 2022 पंजाब विधान सभा में पास किया है, जिससे न सिर्फ़ व्यापारियों को फायदा होगा, बल्कि राज्य के अपने राजस्व में भी विस्तार होगा।
क्या है संशोधन में
इस संशोधन से सरकार के पास अधिकार आ जायेगा, जिससे कर दाता को कुछ हालातों में कर का क्रेडिट लेने से रोका जा सकेगा। उन्होंने कहा कि व्यापारियों की सुविधा के लिए कर का क्रेडिट लेने का समय 30 सितंबर से बढ़ा कर 30 नवंबर किया जा रहा है जिससे व्यापारी जो भी खर्च कर चुके हैं उनका क्रेडिट 30 नवंबर तक ले सकेंगे और कर का भुगतान कर सकेंगे। कर दाताओं के द्वारा रिटर्न पेश करने को तर्कसंगत बनाने के लिए एक्ट की धारा 37, 38 और 39 में संशोधन पास किया गया है। वित्त मंत्री ने कहा कि कर की पालना बढ़ाने और कर की चोरी रोकने के लिए सेक्शन-39 में संशोधन किया जा रहा है। इसके साथ सप्लाई का विवरण दिए बिना कर दाता अपनी रिटर्न फाइल नहीं कर सकेगा।