गुजरात के सिद्धिगोमा जनजाति के कलाकारों ने पारंपरिक नृत्य की प्रस्तुति से दर्शकों को किया मंत्रमुग्ध
रायपुर
गुजरात के सिद्धिगोमा जनजाति के कलाकारों ने पारंपरिक नृत्य की प्रस्तुति देखकर राज्योत्सव का आनंद लेने आए दर्शक मंत्रमुग्ध हो गए। सिद्धिगोमा नृत्य पारंपरिक एवं विवाह अनुष्ठान के अवसर पर किया जाता है। इस नृत्य में केवल पुरुष कलाकार ही भाग लेते हैं। मोर पंख और कौडि?ों से सजे धजे वस्त्र पहनकर सिद्धी आदिवासियों की हैरतअंगेज प्रस्तुति बरबस ही लोगों का ध्यान खींच लेती है। कहा जाता है कि सिद्धि मूलत: अफ्रीका मूल की जनजातियां है जिन्हें 500 वर्ष पूर्व पुर्तगालियों ने भारत में बसाया था। यह जनजाति मुख्यत: कर्नाटक, गोवा और गुजरात में निवास करती है।