November 24, 2024

नए साल में होगी धन की वर्षा, करे श्री कृष्णा का पूजन, पूरे साल बनी रहेगी कृपा

0

कहते हैं कि नए साल की शुरुआत ईश्वर की भक्ति और पूजा-पाठ, दान-पुण्य से हो तो सालभर समृद्धि में कोई कमी नहीं आती. हर कार्य पूर्ण होते हैं. खास बात ये है कि साल 2023 का पहला दिन चार शुभ संयोग लेकर आ रहा है.

1 जनवरी 2023 को शिव, सिद्ध, सर्वार्थ सिद्धि और रवि योग का अद्भुत संयोग बन रहा है, जिसमें की गई पूजा का कभी न खत्म होने वाला पुण्य मिलता है. मान्यता है कि साल की शुरुआत में श्रीकृष्ण की पूजा और उपाय करने से पूरे वर्ष भौतिक सुख प्राप्त होता है. निसंतान को संतान सुख, विवाहिता को अखंड सौभाग्य का वरदान मिलता है. आइए जानते हैं नए साल में कैसे करें श्रीकृष्ण की पूजा.

परिवार में मिठास

परिवार में कता का भाव खत्म हो चुका है. धन, काम और संपत्ति को लेकर मनमुटाव चल रहा है. परिवार की खुशियों को किसी की नजर लग गई है तो साल 2023 की शुरुआत में श्रीकृष्ण को पूजा में मोरपंख चढ़ाएं और फिर इसे ऊं द्वारपालाय नम: जाग्रय स्थापयै स्वाहा मंत्र बोलते हुए घर के मुख्य द्वार पर लटका दें. मान्यता है इससे घर की नकारात्मक ऊर्जा का नाश होता है और परिवार के बीच चल रही तनातनी दूर होती है. घर के सदस्यों में प्रेम बना रहता है.

आर्थिक स्थिति को मजबूत

पैसों की परेशानियों से छुटकारा पाना चाहते हैं तो नए साल के पहले दिन केसर मिश्रित दूध से श्रीकृष्ण का अभिषेक करें. मान्यता है इस तरह कान्हा की पूजा करने से मां लक्ष्मी अति प्रसन्न होती है. कहते हैं इससे सालभर धन लाभ होगा. आर्थिक स्थिति में सुधार आएगा.

शीघ्र विवाह के लिए

विवाह में विलंब हो रहा है. शादी की बात बनते-बनते बिगड़ जाती है तो साल 2023 की शुरुआत में श्रीकृष्ण को उनका प्रिय भोग लगाएं और फिर 108 बार इस मंत्र का जाप करें – 'ॐ क्लीं कृष्णाय वासुदेवाय हरी:परमात्मने प्रणत: क्लेशनाशाय गोविंदाय नमो नम: क्लीं कृष्णाय गोविंदाय गोपीजनवल्ल्भाय स्वाहा’ मंत्र का जाप करें। मान्यता है कि इस मंत्र के जाप से शीघ्र ही विवाह योग्य रिश्ते आने लगते हैं.

संतान की खुशहाली

संतान सुख पाने के लिए कान्हा की भक्ति करना बहुत उत्तम फलदायी माना गया है. इसके लिए नए साल में 2 जनवरी 2023 पौष पुत्रदा एकादशी का व्रत करें और भगवान विष्णु की पितांबरी से पूजा करें. श्रीकृष्ण भगवान विष्णु का ही अवतार हैं. पूजा में पीला चंदन, पीले फूल, पीला वस्त्र चढ़ाएं और संतान की खुशहाली, उसकी दीर्धायु की कामना करते हुए विष्णु सहस्त्रनाम का पाठ करें.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *