पूरे दिन बॉलिंग के लिए तैयार थे रोहित, कंगारुओं ने एक सेशन में ढेर होकर कप्तान को दिया सरप्राइज
नागपुर
नागपुर के वीसीए स्टेडियम में अपनी दुर्गति देखने के बाद ऑस्ट्रेलिया को निश्चित तौर पर बेंगलुरु के अलुर के ट्रेनिंग करना बेतुका लगा होगा। बताया जाता है कि कंगारूओं ने रैंक टर्नर की अपेक्षा की थी और उसी हिसाब से ट्रेनिंग की थी लेकिन बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी के पहले टेस्ट में नागपुर की पिच पर जो उनका टेस्ट हुआ वहां प्रैक्टिस का अनुभव धराशाई हो गया और ऐसा लगता है पिच कहीं ना कहीं वीसीए स्टेडियम से ज्यादा कंगारूओं के जेहन में टर्न कर रही थी तभी उनके कई
पिच को लेकर ज्यादा सोचने वाली मेहमान टीमों के साथ अक्सर भारत में ऐसा होता आया है। फिर भी ये किसी ने नहीं सोचा था कि चौथी पारी में कमिंस एंड कंपनी इतनी जल्दी घुटने टेक देगी और ऑस्ट्रेलिया पर भारत की ज़बरदस्त जीत के बाद, भारत के कप्तान रोहित शर्मा को भी उम्मीद नहीं थी कि मेहमान टीम सिर्फ एक सेशन में ढेर हो जाएगी।
जिस पिच पर ऑस्ट्रेलिया पहली पारी में 200 नहीं देख पाया और दूसरी में 100 के नीचे ढेर हो गया उसी पिच पर भारत ने पहली पारी में बोर्ड पर 400 रन बनाए। भारत ने भी झटके सहे और निराशाएं झेली लेकिन उसके पास पलटवार करने वाला कप्तान और धैर्य से खेलने वाले जडेजा मौजूद थे। अक्षर पटेल ने निश्चित तौर पर दिखाया कि घरेलू क्रिकेट का अनुभव वाकई अपनी पिच पर काम आता है। ऑस्ट्रेलिया अपनी दूसरी पारी की शुरुआत से पहले 223 रन से पिछड़ रहा था। पहली पारी में महज 177 रनों पर सिमटने के बाद ऑस्ट्रेलिया के बेहतर होने की उम्मीद थी लेकिन वह रविचंद्रन अश्विन को संभाल नहीं पाई जिन्होंने कंगारूओं को सिर्फ 91 रनों पर समेट दिया गया और मेहमानों को पारी और 132 रनों से शर्मनाक हार का सामना करना पड़ा।
वैसे भज्जी ने पहले ही बता दिया था मैच तीसरे दिन खत्म होगा और अश्विन को झेलना मुश्किल होगा। फिर भी मैदान पर ऑस्ट्रेलिया मजबूत टीम रही है ऐसे में ऑस्ट्रेलिया रोहित की अपेक्षा से पहले ही आउट हो गया। उन्होंने मैच के बाद कहा, "नहीं, मैंने ये अपेक्षा नहीं की थी (ऑस्ट्रेलिया को एक सत्र में आउट करने की उम्मीद)। हम दिन भर गेंदबाजी करने, हर सेशन के हिसाब से प्लान करने के लिए तैयार थे। हमने कभी नहीं सोचा था कि वे एक सत्र में आउट हो जाएंगे। जैसा कि आपने देखा, पिच और धीमी हो गई और पिच पर कोई उछाल नहीं था, इसलिए यह मेरे लिए थोड़ी आश्चर्य की बात थी।"
पहले टेस्ट से पहले, ऑस्ट्रेलियाई मीडिया के साथ-साथ कुछ एक्सपर्ट ने नागपुर की पिच पर छेड़छाड़ करने का सवाल उठाया था फॉक्स मीडिया खासकर पिच को लेकर बहुत बातें कर रहा है और इसे ऑस्ट्रेलिया के बाए हाथ के बल्लेबाजों के लिए बुरा सपना भी बताया क्योंकि उनकी बल्लेबाजी में अधिकांश बाए हाथ के बल्लेबाज हैं। हालांकि, भारतीय कप्तान रोहित शर्मा ने सभी बातों को खारिज कर दिया और कहा कि वे इस तरह की पिचों पर खेलना चाहते हैं क्योंकि वे पिछले 3-4 सालों से इन पर खेल रहे हैं। उन्होंने कहा, "मैं ऑस्ट्रेलियाई टीम की मानसिकतानहीं जानता। मैं अपनी टीम का समर्थन कर सकता हूं और हम इस तरह की पिचों पर खेलना चाहते हैं। क्योंकि हम सभी इस तरह की पिचों पर खेलते हुए बड़े हुए हैं, इसलिए अब चेंजिंग रूम में पिचों के बारे में कोई बात नहीं होती है।"