पूर्व मंत्री धर्म सिंह सैनी पर कसा शिकंजा, रिश्वत के आरोपों को लेकर जल्द पूछताछ करेगी एसटीएफ
लखनऊ
आयुष कालेजों में फर्जी दाखिले और मान्यता देने के लिये रिश्वत लेने के आरोप में फंसे पूर्व मंत्री धर्म सिंह सैनी से एसटीएफ जल्द ही पूछताछ करेगी। इसके लिये उन्हें नोटिस भेज दिया गया है। कोर्ट को भेजी चार्जशीट में एसटीएफ ने पूर्व मंत्री सैनी के निजी सचिव राजकुमार दिवाकर के बयान से यह आरोप लगाया है। एसटीएफ इन आरोपों के लिये साक्ष्य जुटाने में लगी हुई है।
आयुष फर्जी दाखिले में निदेशालय डॉ. एसएन सिंह ने हजरतगंज कोतवाली में चार नवम्बर को एफआईआर दर्ज करायी थी। इसकी जांच एसटीएफ ने की थी। इसके बाद ही एसएन सिंह और नोडल अधिकारी परीक्षा उमाकांत समेत कई लोगों को निलम्बित कर दिया गया था। इसके बाद एक साथ 14 लोगों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया था। कई और लोगों की गिरफ्तारियां भी हुई थीं। तीन महीने में एसटीएफ ने चार्जशीट कोर्ट में दाखिल की तो उसमें कई और खुलासे हुए।
चार्जशीट में लगे आरोप
आरोप पत्र में लिखा गया है कि एसएन सिंह और डा. उमाकांत यादव ने बताया कि 2019 में उच्च न्यायालय द्वारा जारी एक आदेश को जल्द कराने के लिए डा. अनवर सईद व डॉ. अकरम ही डॉ. उमाकांत से मिले थे। उमाकांत से कहा कि अगर सुप्रीम कोर्ट के आदेश का जल्द अनुपालन करवा दें तो स्नातक की मान्यता के लिए एक करोड़ 10 लाख और परास्नातक के लिए 50 लाख रुपये दे देंगे।
इस पर एसएन सिंह और उमाकांत ने उन दोनों को आश्वस्त किया और दोनों ने तत्कालीन मंत्री धर्म सिंह सैनी के निजी सचिव राजकुमार दिवाकर से बात कर मुलाकात का समय ले लिया। वहां से काम होने का आश्वासन मिलने के बाद सईद और अकरम ने अलग-अलग तारीखों में यूजी के लिए एक करोड़ 10 लाख रुपये एसएन सिंह व उमाकांत को दिए।