कृत्रिम हाथ पाकर मोहित कुमार की गाड़ी ने पकड़ी जीवन की रफ़्तार
रायपुर
रायपुर से 75 किलोमीटर दूर ग्राम जेवरतला के 27 वर्षीय युवक मोहित कुमार का हाथ धान कटिंग मशीन में मजदूरी करते कट गया था। दो वर्षों तक इंतजार के बाद गत दिनों प्रदेश कांग्रेस विकलांग सेवा प्रकोष्ठ के अध्यक्ष महेन्द्र कोचर व विजय चोपड़ा के प्रयास से प्रदेश प्रभारी कुमारी सैलजा के हाथों मोहित को कृत्रिम हाथ प्रदान किया गया। मोहित कुमार ने चर्चा में बताया कि अखिल भारतीय कांग्रेस की महासचिव कुमारी सैलजा जी ने हाथ लगाने के साथ ही मुझे जीवन में आगे बढ?े की प्रेरणा, हिम्मत दी व हौसला अफजाई की थी। जिसके सहारे मैंने गांव आकर कृत्रिम हाथ लगाकर काम करने की ठान ली। दो माह की प्रैक्टिस से अब दोपहिया वाहन चलाने लगा हूँ और कृत्रिम हाथ से लिखने लगा हूँ व दैनिक कार्य करने का प्रयास कर रहा हूँ।
मोहित कुमार आगे बताते हैं कि शीघ्र गांव में ही मैं अपना छोटा मोटा व्यवसाय आरम्भ कर लूंगा और स्वावलंबी जीवन जीने लगूँगा। मोहित कुमार कहते हैं कि सैलजा के मृदु व्यवहार व हौसला अफजाई ने मुझे जीवन में स्वावलंबी बनने की राह दिखाई है। प्रदेश कांग्रेस विकलांग सेवा प्रकोष्ठ के प्रदेश अध्यक्ष महेन्द्र कोचर व विजय चोपड़ा ने बताया कि कुमारी सैलजा जी ने अपने प्रथम प्रवास के समय तीन हाथ कटे दिव्यांगों को कृत्रिम हाथ वितरित किए थे उनमें से पचपेड़ी नाका निवासी राजेश भगोरिया ने बताया कि मेडिकल कॉटन मशीन में काम करते हुए हाथ कट गया था, जीवन में निराशा छा गई थी कांग्रेस द्वारा आयोजित लखनवी कृत्रिम हाथ शिविर में मैंने पहली बार हाथ लगवाया था इस हाथ ने मेरे जीवन की दिशा बदल दी इस कृत्रिम हाथ के सहारे मैंने साइकिल में कपड़े बेचने का कार्य आरम्भ किया और प्रतिदिन लगभग 30 – 40 किलोमीटर साईकिल चलाकर व्यापार करना आरम्भ किया। इस कृत्रिम हाथ के कारण ही मैं अपने व परिवार की जीविका चला रहा हूँ। भदौरिया ने कहा कि भगवान द्वारा दिया गया हाथ तो नही है लेकिन यह उससे कम भी नही है। कोचर व चोपड़ा ने बताया कि चार अन्य दिव्यांगों के कृत्रिम हाथ का निर्माण लखनऊ में किया जा रहा है शीघ्र उन्हें भी कृत्रिम हाथ प्रदान किया जावेगा।