सीएम विजयन ने केंद्र पर एजेंसियों का दुरुपयोग करने, हिंदी भाषा थोपने का लगाया आरोप
नागरकोइल
केरल के मुख्यमंत्री पिनराई विजयन ने तमिलनाडु के अपने समकक्ष एवं द्रमुक के प्रमुख एम के. स्टालिन के साथ यहां एक मंच साझा करते हुए केंद्र सरकार पर भाजपा के राजनीतिक प्रतिद्वंद्वियों को परेशान करने लिए केंद्रीय एजेंसियों का दुरुपयोग करने का आरोप लगाया। विजयन ने मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) और द्रविड़ मुन्नेत्र कड़गम द्वारा क्षेत्रीय भाषाओं को बचाने सहित कई मुद्दों पर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के खिलाफ एक संयुक्त लड़ाई का आह्वान भी किया।
केरल के मुख्यमंत्री ने कहा, हम लंबे समय से केंद्रीय जांच एजेंसियों के राजनीतिक दुरुपयोग के बारे में बात कर रहे हैं और ईडी (प्रवर्तन निदेशालय) तथा सीबीआई (केन्द्रीय अन्वेषण ब्यूरो) जैसी एजेंसियों का, राजनीतिक उत्पीड़न के लिए दुरुपयोग किया जा रहा है। विजयन ने कहा, ईडी के कई मामलों में सजा नहीं होती। सीबीआई के मामलों में भी ऐसा ही है। इसका मतलब है कि राजनीतिक दुरुपयोग की वजह से उनकी साख कमजोर हुई है।
विजयन ने माकपा की तमिलनाडु इकाई द्वारा यहां ‘थोल शीलाई पोराट्टम’ (चन्नार विद्रोह) की 200वीं वर्षगांठ के अवसर पर आयोजित एक समारोह को संबोधित करते हुए यह बयान दिया। कथित लाइफ मिशन हाउसिंग प्रोजेक्ट रिश्वत मामले में प्रवर्तन निदेशालय द्वारा उनके पूर्व मुख्य सचिव एम. शिवशंकर को गिरफ्तार किए जाने के कुछ सप्ताह बाद विजयन ने केंद्रीय एजेंसियों के खिलाफ ये आरोप लगाए हैं। द्रविड़ दलों की हिंदी विरोधी भावनाओं को एक तरह से उद्वेलित करते हुए विजयन ने कहा, हम जानते हैं कि एक भाषा, एक देश, एक संस्कृति का नारा फासीवादी है और यह भारत की विविधता को खत्म कर देगा।
विजयन ने कहा, मुझे याद है कि द्रमुक भाषा संरक्षण के लिए लड़ रही है। आज, हम देख रहे हैं कि देश में हिंदी को थोपा जा रहा है और केंद्र पर शासन करने वाले इसके समर्थक बन गए हैं। वरिष्ठ वामपंथी नेता ने कहा कि ऐसे कई कारक हैं जो केंद्र के खिलाफ लड़ाई में वाम दल और द्रमुक को एक साथ ला सकते हैं। उन्होंने कहा कि इसमें भाषा का संरक्षण, देश के संघीय ढांचे का संरक्षण, राज्यों की जरूरतों का संरक्षण और अधिकारों के लिए संघर्ष भी शामिल है। केरल के मुख्यमंत्री ने दावा किया कि हर राज्य में कई दल हैं जो इन सभी मुद्दों पर द्रमुक और माकपा के साथ हैं।