गिरफ्तारी से बचने के लिए इमरान खान के सामने कोर्ट ने रखी ये शर्त, रैली पर लगाई रोक
इस्लामाबाद
पाकिस्तान की एक अदालत ने पूर्व पीएम इमरान खान के सामने गिरफ्तारी से बचने के लिए एक शर्त रखी है। तोशाखाना मामले में सुनवाई के दौरान अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायालय (ADSJ) के जज ने कहा कि अगर इमरान खान कोर्ट में सरेंडर करते हैं, तो वह पुलिस को गिरफ्तारी का आदेश नहीं देंगे। पाकिस्तानी अखबार डॉन की रिपोर्ट के मुताबिक, जज जफर इकबाल ने पाकिस्तान के चुनाव आयोग (ईसीपी) की याचिका पर सुनवाई करते हुए ये बात कही। तोशाखाना मामले में इमरान खान के खिलाफ आपराधिक कार्रवाई की मांग की जा रही है।
गैर जमानत वारंट हुआ था जारी
सत्र अदालत 28 फरवरी को इमरान खान पर अभियोग लगाने की तैयारी में थी, लेकिन पूर्व पीएम के वकील ने जज से अनुरोध किया था कि उन्हें सुनवाई से छूट दी जाए, क्योंकि उन्हें कई अन्य अदालतों में पेश होना है। अदालत ने बाद में इमरान के खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी किया था और पुलिस को 7 मार्च तक अदालत में पेश करने का निर्देश दिया था।
पीटीआई की रैली पर रोक
वहीं, दूसरी तरफ लाहौर हाईकोर्ट ने इकबाल पार्क में रविवार को होने वाली पीटीआई की रैली पर रोक लगा दी है। कोर्ट ने कहा कि नागरिकों को अपनी आम जिंदगी जीने दें। बता दें कि पीटीआई 19 मार्च को लाहौर के मीनार-ए-पाकिस्तान में एक ऐतिहासिक रैली आयोजित करने की योजना बना रही थी। इमरान खान रैली का नेतृत्व करने वाले थे।
इमरान के घर के बाहर घमासान
इससे पहले, पाकिस्तान में हाईकोर्ट ने बुधवार को पुलिस को इमरान खान की गिरफ्तारी का अभियान स्थगित करने का आदेश दिया था। इमरान के आवास के बाहर करीब 24 घंटों तक सुरक्षाबलों और पूर्व प्रधानमंत्री के समर्थकों के बीच घमासान हुआ। इसमें पथराव, लाठीचार्ज हो रहा था और आंसू गैस व पानी की बौछार की जा रही थी। दोनों पक्षों ने एक-दूसरे पर गोलीबारी का भी आरोप लगाया है। टकराव में 65 पुलिसकर्मियों समेत करीब सौ लोगों के घायल होने की सूचना है। इमरान खान ने सरकार पर गिरफ्तारी की आड़ में अपहरण करवाकर हत्या कराने की साजिश का आरोप लगाया है।