बदहाल पाकिस्तान: रमजान में दाने-दाने को मोहताज गरीब अवाम
इस्लामाबाद
पाकिस्तान की मुश्किलें खत्म होने का नाम नहीं ले रही हैं। सरकार और राजनीतिक पार्टियां आपस में लड़ने में व्यस्त हैं। पाकिस्तानी सेना भी तख्तापलट की तैयारी में जुटी हुई है। लेकिन, जिन्ना के इस देश में आम अवाम की सुध लेने वाला कोई नहीं है। रमजान के पाक महीने में भी गरीब पाकिस्तानियों को एक किलोग्राम आटे के लिए आधा किलोमीटर लंबी लाइनों में लगना पड़ रहा है। कई जगह तो आटे के सरकारी विक्रय केंद्रों पर भगदड़ भी मची है। बताया जा रहा है कि आटे की लूट के दौरान मची भगदड़ में अब तक तीन लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि कई घायल भी हुए हैं। इसके बावजूद लोगों के घरों तक सस्ता राशन पहुंचाने के नाम पर कोई भी प्रयास नहीं किए जा रहे हैं।
वायरल हो रहा आटे वाली लाइन का वीडियो
हाल में ही पाकिस्तान में आटे के लिए लगी लाइन का एक वीडियो वायरल हुआ है। इसमें पाकिस्तानी अवाम आधा किलोमीटर लंबी लाइन में आटे का इंतजार करती दिख रही है। इसमें पुरुषों की लाइन एक तरफ और महिलाओं की लाइन दूसरी तरफ है, लेकिन किसी और संख्याबल की कमी नहीं है। इस वीडियो को पाकिस्तान के कई वरिष्ठ पत्रकारों ने शेयर किया है। लोगों का कहना है कि सरकार फ्री में आटा बंटवाने की जगह उनके बैंक खातों में सीधे पैसे भेज दे। इससे वे आटा खरीद लेंगे और लाइन में भी नहीं लगना होगा। लेकिन, इससे राजनीति नहीं की जा सकती है।
रूस से आए गेहूं डकार गए पाकिस्तानी अधिकारी
पाकिस्तान में सरकारी तंत्र ऊपर से नीचे तक भ्रष्टाचार में लिप्त है। पाकिस्तान सरकार ने हाल में ही रूस से 50000 टन गेहूं का आयात किया था। अब ऐसी रिपोर्ट्स हैं कि इनमें से 40000 टन गेहूं सरकारी अधिकारियों के भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गए। इस मामले में 67 अधिकारियों को सस्पेंड किया गया है और उन्हें कारण बताओं नोटिस भी जारी हुआ है। सरकार ने पूछा है कि क्यों नहीं उनकी नौकरी को ही खत्म कर दिया जाए। इस गेहूं को सरकारी दुकानों में भेजने की जगह खुले मार्केट में निजी मिल मालिकों को बेंच दिया गया था।
अनाज की कमी से क्यों जूझ रहा पाकिस्तान
पाकिस्तान में अनाज की कमी के कई कारण हैं। पिछले साल पाकिस्तान ने दशकों में सबसे भीषण बाढ़ का सामना किया। इससे देश में खाद्यान उत्पादन को तगड़ा झटका लगा। कई इलाकों में फसलें तबाह हो गईं और अगले सीजन में भी बुआई न हो सकी। अनाज की कमी को विदेशों से आयात कर दूर किया जा सकता था, लेकिन पाकिस्तान के खजाने में उतने पैसे नहीं हैं। पाकिस्तान आर्थिक संकट से जूझ रहा है। उसका विदेशी मुद्रा भंडार खाली है। ऐसे में पाकिस्तान चाहकर भी विदेशों से खाद्यान का आयात नहीं कर सकता है।