November 26, 2024

राहुल गांधी के खिलाफ देश में आपराधिक अवमानना के 10 से ज्यादा केस दर्ज

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नई दिल्ली

गुजरात की एक अदालत द्वारा मानहानि मामले में दोषी ठहराए जाने और 2 साल की सजा सुनाने के बाद राहुल गांधी (Rahul Gandhi) की संसद सदस्यता खत्म हो गई है। राहुल गांधी के खिलाफ आपराधिक अवमानना का यह इकलौता मामला नहीं है। देश के अलग-अलग हिस्सों में कांग्रेस नेता पर इस तरह के 10 से ज्यादा मामले दर्ज हैं। गौर करने वाली बात है कि राहुल गांधी ने किसी के खिलाफ कोई मुकदमा दर्ज नहीं कराया है।

राहुल गांधी को किस केस में हुई सजा?

2019 में एक चुनावी जनसभा के दौरान राहुल गांधी ने कथित तौर पर ‘मोदी’ सरनेम को लेकर एक टिप्पणी की थी। तब उन्होंने कहा था कि सभी चोरों का सरनेम मोदी ही क्यों होता है? उनकी इसी टिप्पणी के खिलाफ गुजरात के बीजेपी नेता पूर्णेश मोदी (Purnesh Modi) ने आपराधिक अवमानना का मामला दायर किया था, जिसमें राहुल गांधी को सजा हुई।

मोदी सरनेम पर टिप्पणी से जुड़े जिस केस में राहुल गांधी (Rahul Gandhi) को सजा हुई है, उसमें पूर्णेश मोदी (Purnesh Modi) के अलावा एडवोकेट प्रदीप मोदी ने भी मुकदमा दायर कर रखा है। यह मामला रांची में चल रहा है। इसके अलावा बीजेपी नेता सुशील मोदी ने भी इसी मामले में राहुल के खिलाफ केस किया है।

RSS पर टिप्पणी से जुड़े सर्वाधिक मामले

राहुल गांधी (Rahul Gandhi) के खिलाफ आपराधिक अवमानना के जो मामले दर्ज हैं, उसमें कई राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) पर कथित टिप्पणी से जुड़े हैं।

मामला-1

मार्च 2014 में महाराष्ट्र के थाने में एक रैली को संबोधित करते हुए राहुल गांधी ने कथित तौर पर कहा था कि आरएसएस के लोगों ने गांधीजी की हत्या की थी। उनकी इस टिप्पणी के खिलाफ आरएसएस के भिवंडी यूनिट के प्रमुख राजेश कुंती ने अवमानना का मामला दाखिल कर रखा है।

इस केस में राहुल गांधी (Rahul Gandhi) के वकील कुशल मोर Bar & Bench से कहते हैं कि मामले में ट्रायल शुरू होना बाकी है, क्योंकि शिकायतकर्ता अब तक कोई गवाह पेश नहीं कर पाया है।

गौर करने वाली बात यह है कि अगस्त 2016 में राहुल गांधी ने सुप्रीम कोर्ट को दिए एक एफिडेविट में कहा था कि उन्होंने कभी भी महात्मा गांधी की हत्या के लिए आरएसएस को जिम्मेदार नहीं ठहराया है। बल्कि यह जरूर कहा है कि गांधी की हत्या में आरएसएस के कार्यकर्ता या आरएसएस से लोग जुड़े शामिल थे। इसका मतलब यह नहीं है कि उन्होंने पूरे आरएसएस को कटघरे में खड़ा किया।

मामला-2

RSS पर कथित टिप्पणी से जुड़ा एक और मामला दिसंबर 2015 का है। तब असम में चुनाव प्रचार के दौरान राहुल गांधी ने दावा किया था कि वे बाड़पेटा मंदिर (Barpeta temple) जाना चाहते थे, लेकिन आरएसएस के लोगों ने उन्हें रोक दिया। राहुल ने कहा था कि बीजेपी के लोगों ने महिलाओं को आगे कर दिया, ताकि मैं मंदिर न जा पाऊं। बाद में इस मामले में आरएसएस कार्यकर्ता अंजन बोरा ने राहुल गांधी के खिलाफ अवमानना का मामला दाखिल किया था।

मामला-3

सितंबर 2017 में मशहूर पत्रकार गौरी लंकेश की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। उनकी हत्या के चंद घंटों बाद राहुल गांधी ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए कहा था कि जो लोग बीजेपी और आरएसएस की विचारधारा के खिलाफ बोलते हैं उन पर इसी तरह दबाव बनाया जाता है, मारा-पीटा जाता है, यहां तक कि हत्या कर दी जाती है…। इस मामले में RSS कार्यकर्ता और एडवोकेट धृतिमान जोशी और आदित्य मिश्रा ने आपराधिक अवमानना और सिविल सूट दाखिल कर रखा है।

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