चीनी करेंसी में रूस को पेमेंट करेगा बांग्लादेश, पुतिन पर प्रतिबंध लगाकर डॉलर का ‘सत्यानाश’ कर रहा अमेरिका?
चीन
यूक्रेन युद्ध शुरू होने के बाद अमेरिका और उसके सहयोगी देशों ने रूस के खिलाफ दर्जनों आर्थिक प्रतिबंध लगा दिए, जिसका असर पर डॉलर पर पड़ रहा है। दुनिया के दर्जनों देश अमेरिकी प्रतिबंधों से बचने के लिए और रूस से व्यापार करने के लिए लोकल करेंसी में व्यापार पर जोर दे रहे हैं, जिसका सबसे गंभीर असर डॉलर पर पड़ रहा है। भारत ने भी 18 देशों के साथ भारतीय रुपये में व्यापार करने के लिए या तो तंत्र विकसित कर लिए हैं, या फिर तंत्र विकसित करने की दिशा में काम किया जा रहा है। वहीं, ताजा रिपोर्ट के मुताबिक, बांग्लादेश ने रूस के बिलों का भुगतान करने के लिए चीनी करेंसी को चुना है। रिपोर्ट के मुताबिक, बांग्लादेश को अपने निर्माणाधीन रूपपुर बिजली संयंत्र के लिए रूस को 110 मिलियन डॉलर का भुगतान करना है, जिसका पेमेंट वो चीनी करेंस युआन में करेगा।
प्रतिबंध से डॉलर को हो रहा नुकसान
कासशील देशों के संगठन BRICS (ब्राजील, रूस, भारत, चीन और दक्षिण अफ्रीका) के बीच एक ऐसे तंत्र को विकसित किया जा रहा है, जो आपसी व्यापार से डॉलर को बाहर कर देगा और एक कॉमन ब्रिक्स करेंसी विकसित करेगा, जिसे ब्रिक्स करेंसी कहा जाएगा।
दर्जनों आर्थिक प्रतिबंधं की वजह से रूस को ज्यादातर अंतरराष्ट्रीय बैंकिंग प्रणाली से प्रतिबंधित कर दिया गया है। लिहाजा, भुगतानों को निपटाने के तरीकों के लिए महीनों की जद्दोजहद के बाद, पिछले हफ्ते, रूस और बांग्लादेश के वित्त मंत्रालय के एक उच्च-स्तरीय प्रतिनिधिमंडल ने सहमति व्यक्त की है, कि बिलों का भुगतान युआन में किया जा सकता है।