‘मदद नहीं मिली तो मर जाएंगे’, पाकिस्तान ने लगाई दुनिया से गुहार, प्रलयंकारी बाढ़ से स्थिति काफी गंभीर
इस्लामाबाद
पाकिस्तान ने शनिवार को अंतरराष्ट्रीय समुदाय से विनाशकारी बाढ़ की स्थिति में "भारी मानवीय मदद" की अपील की है, जिसमें कम से कम 1,265 लोग मारे जा चुके हैं और आधा पाकिस्तान डूबा हुआ है। हालांकि, पाकिस्तान के अनुरोध पर अमेरिका, फ्रांस, तुर्की और यूएई से काफी मदद जरूर पहुंची है, लेकिन पाकिस्तान को अभी और मदद की आवश्यकता है और तुर्की ने जो मदद की है, वो ऊंट के मुंह में जारी के समान है। पाकिस्तान में बाढ़ से करीब 3 करोड़ 30 लाख लोग बुरी तरह से प्रभावित हैं और हजारों घर बाढ़ में बह चुके हैं। खासकर सिंध और बलूचिस्तान की हालत सबसे ज्यादा खराब है।
3 करोड़ से ज्यादा लोग गंभीर प्रभावित पाकिस्तान के फेडरल प्लानिंग मिनिस्टर अहसान इकबाल ने मानसून की भारी बारिश और उससे आई विनाशकारी बाढ़ से प्रभावित "33 मिलियन लोगों के लिए भारी मानवीय मदद" का आह्वान किया है। पाकिस्तान की दुर्दशा पर अंतर्राष्ट्रीय समुदाय का ध्यान हालांकि बढ़ा है, लेकिन अभी भी उतनी मदद नहीं मिल रही है, जिसका बाढ़ग्रस्त इस मुल्क को मिलना चाहिए और पाकिस्तान की सरकार के पास बाढ़ पीड़ितों तक मदद पहुंचाने के लिए संसाधन और पैसों, दोनों का अभाव है। जिसकी वजह से बाढ़ की स्थिति और भी ज्यादा घातक हुई है और भारी संख्या में लोगों की मौत हुई है। प्रारंभिक सरकारी अनुमानों के अनुसार, बारिश और बाढ़ से 10 अरब डॉलर का नुकसान अब तक हो चुका है।
तत्काल मानवीय मदद की जरूरत संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस सहित कई अधिकारियों और विशेषज्ञों ने पाकिस्तान में आई इस विनाशकारी बाढ़ के लिए जलवायु परिवर्तन को जिम्मेदार ठहराया है। पाकिस्तान में इस साल मॉनूसन की भारिश ने सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं और देश कुछ हिस्सों में अभी भी बारिश हो रही है, जिसके लिए जलवायु परिवर्तन जिम्मेदार है। और यूएन प्रमुख की तरफ से कहा गया है कि, दुनिया अभी भी जलवायु परिवर्तन को लेकर नींद में चल रही है और वो 9 सितंबर को पाकिस्तान का दौरा करने वाले हैं और बाढ़ प्रभावित इलाकों में जाकर वो अधिकारियों से मुलाकात करेंगे और संकटग्रस्त देश का जायजा लेंगे। दूसरी तरफ पाकिस्तान सरकार ने प्रवासी पाकिस्तानियों से फौरन देश की मदद करने के लिए सामने आने को कहा है। 160 मिलियन डॉलर की मांग पाकिस्तान सरकार ने कहा कि, "तबाही का पैमाना बहुत बड़ा है और 3 करोड़ 30 लाख से ज्यादा लोगों को एक विशाल मानवीय मदद की आवश्यकता है।
इसके लिए मैं अपने साथी पाकिस्तानियों, पाकिस्तान प्रवासियों और अंतरराष्ट्रीय समुदाय से अपील करता हूं कि वे इस जरूरत की घड़ी में पाकिस्तान की मदद करें।" इस सप्ताह की शुरुआत में, संयुक्त राष्ट्र और पाकिस्तान ने संयुक्त रूप से बाढ़ से प्रभावित लाखों लोगों की मदद के लिए 160 मिलियन डॉलर की आपातकालीन निधि की अपील की थी, यानि दुनिया भर के देशों से 160 मिलियन डॉलर की मदद मांगी थी और पाकिस्तान ने कहा था, कि 10 लाख घर पूरी तरह से बर्बाद हो चुके हैं। 1200 से ज्यादा लोगों की मौतें पाकिस्तान के राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने शनिवार को अपनी ताजा रिपोर्ट में बाढ़ प्रभावित इलाकों में 57 और लोगों की मौत होने की बात कही है। जून के मध्य में मॉनसून की बारिश शुरू होने के बाद से 441 बच्चों सहित 1,265 लोगों की मौत हो गई। प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ पहले ही अंतर्राष्ट्रीय मसुदाय से मानवीय सहायता भेजने की अपील कर चुके हैं और उनकी अपील पर अंतरराष्ट्रीय समुदाय से त्वरित प्रतिक्रिया मिली है, और राहत सामग्री से लदे कई विमान पाकिस्तान पहुंचे हैं।
राहत सामग्री ले जा रहा एक फ्रांसीसी विमान शनिवार को इस्लामाबाद में उतरा और राष्ट्रीय स्वास्थ्य सेवा मंत्री अब्दुल कादिर पटेल ने उसकी अगवानी की। उस फ्रांसीसी विमान का आगमन संयुक्त अरब अमीरात से नौवीं उड़ान और उज्बेकिस्तान से पहली उड़ान के बाद हुआ। पटेल ने कहा कि फ्रांस द्वारा भेजे गए राहत सामानों में जल स्तर को कम करने के लिए दवा और पानी निकालने वाले बड़े पंप शामिल हैं। उन्होंने कहा कि फ्रांस ने भी डॉक्टरों और विशेषज्ञों की एक टीम भेजी है। पाकिस्तान ने प्रभावित आबादी के बीच पहुंचने वाली सहायता को वितरित करने के लिए एक राष्ट्रीय बाढ़ प्रतिक्रिया और समन्वय केंद्र की स्थापना की है।