Ayushman Card बनाने प्रदेश में छिंदवाड़ा जिला पहले नंबर पर
भोपाल
केंद्र सरकार की महत्वकांक्षी योजना आयुष्मान कार्ड (Ayushman Card) बनाने में मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ (Kamal Nath) का जिला पहले नंबर पर रहा है. यहां पर पिछले 30 दिनों में 1 लाख 30 हजार से ज्यादा कार्ड बनाए गए हैं. इसके बाद सतना और दूसरे जिलों के नाम आए हैं. आयुष्मान कार्ड के जरिए देशभर के किसी भी शासकीय अस्पताल में 5 लाख रुपए प्रति वर्ष तक का निशुल्क उपचार कराया जा सकता है. आयुष्मान कार्ड योजना पूरे देश में काफी लोकप्रिय रही है और देशभर में लोग इस योजना का लाभ उठा रहे हैं. मध्य प्रदेश में भी प्रशासनिक अधिकारियों की दक्षता से लगातार पात्र लोगों के आयुष्मान कार्ड बन रहे हैं.
आयुष्मान कार्ड बनाने में छिंदवाड़ा नंबर वन
यदि पिछले 1 महीने की बात की जाए तो आयुष्मान कार्ड बनाने के मामले में छिंदवाड़ा मध्य प्रदेश में नंबर वन पर रहा है. यहां पर 1,30,116 लोगों के आवेदन आए. इसके बाद सतना का नंबर आता है यहां पर 128747 लोगों ने आयुष्मान कार्ड के लिए आवेदन किया है. वहीं, तीसरे नंबर पर उज्जैन संभाग के देवास का नाम आता है यहां पर 71,513 लोगों के आवेदन सामने आए हैं. इसी तरह बड़वानी में 70,337, रीवा में 68,704, राजगढ़ में 68,352 लोगों ने कार्ड बनवाने के लिए आवेदन किए हैं. इनमें से अधिकांश लोगों के आवेदन स्वीकृत हो गए हैं.
मध्य प्रदेश में आए इतने आवेदन
मध्य प्रदेश में पिछले 30 दिनों में 16,81,113 लोगों ने आवेदन किए हैं, जबकि 14,90,748 लोगों के आवेदन स्वीकृत हो गए हैं, वहीं 62,854 लोगों के आवेदन रिजेक्ट किए गए हैं. यदि पेंडिंग आवेदन की बात की जाए तो यहां पर 1,28,511 आवेदन पेंडिंग बताई जा रहे हैं.
आयुष्मान कार्ड बनाने का तरीका
आयुष्मान कार्ड निशुल्क उपचार की सबसे लाभप्रद योजना है. इसे बनवाने के लिए पारिवारिक समग्र आईडी के साथ एक पहचान पत्र जिसमें पैन कार्ड, आधार कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस, वोटर आईडी या सरकारी पहचान पत्र आवश्यक है. लोक सेवा केंद्र के माध्यम से आसानी से आयुष्मान कार्ड बनवाए जा सकता है.
इन बीमारियों को भी किया गया है शामिल
आयुष्मान कार्ड के तहत कोई भी व्यक्ति कोरोना के साथ-साथ हृदय रोग, डेंगू, चिकनगुनिया, गुर्दा रोग, मलेरिया, डायलिसिस, घुटना प्रत्यारोपण, मोतियाबिंद, निःसंतान और अन्य गंभीर बीमारियों का निशुल्क इलाज करा सकता है. इस योजना के तहत मरीजों को कार्ड उपलब्ध होने पर अस्पताल में भर्ती के समय निशुल्क भोजन और दवाएं भी उपलब्ध की जाती हैं.