September 24, 2024

जिला पंचायत सीईओ नम्रता ने टीबी मरीज की लिया गोद

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कोरिया

कोरिया एक साल पहले कोर्ट में शादी रचाकर लोगो को खचीर्ली शादी रोकने का संदेश देकर चर्चा में आई महिला आईएएस अफसर ने फिर एक बार अपने कामों को लेकर चर्चा में है। बीते साल 2021 के सितम्बर माह में छत्तीसगढ़ के 2019 बैच की आईएएस अफसर नम्रता जैन ने महासमुंद कोर्ट में अपने करीबी मित्र और ट्रेनी आईपीएस अशोक कुमार रखेचा के साथ शादी रचाकर खचीर्ली शादी रोकने का संदेश दिया था अब यह आईएएस अफसर वर्तमान में कोरिया जिला पंचायत सीईओ नम्रता जैन ने एक टीबी मरीज को गोद लेकर देश को टीबी मुक्त बनाने का संदेश दिया है।
टीबी मुक्त देश का सन्देश देने में कोरिया कलेक्टर विनय कुमार लंगेह भी साथ है। कलेक्टर ने भी एक टीबी मरीज को गोद लेकर टीबी मुक्त भारत के सपने को साकार करने की बात कही है। जिले को 2023 तक टीबी मुक्त बनाने के उद्देश्य से कलेक्टर कोरिया विनय कुमार लंगेह एवं मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत नम्रता जैन ने पहल करते हुए एक-एक टीबी मरीज को सहभागिता स्वरूप पोषण आहार /फूड बास्केट देने के लिये सहयोग प्रदान करने की अनुमति दी है। कलेक्टर विनय कुमार लंगेह और जिला पंचायत सीईओ नम्रता जैन ने जिले के समस्त जनप्रतिनिधियों, गैर सरकारी संगठनों, शासकीय एवं निजी संस्थानों, और औद्योगिक संस्थानों, कारपोरेट सामाजिक दायित्व (सीएसआर) शासकीय सेवकों और जन सामान्य के योगदान के जरिए टीबी मरीजों के उपचार में मदद करने के लिये अपील की है।

राष्ट्रीय क्षय उन्मूलन कार्यक्रम अंतर्गत देश को वर्ष 2025 तक टीबी मुक्त किया जाना है। टीबी मरीजों के उपचार एवं पोषण आहार में समुदाय की सहभागिता तथा मरीजों को अतिरिक्त सहायता उपलब्ध कराना है । सामाजिक योगदान के जरिए टीबी के उपचार में मदद करना है। विकासखंडों और शहरों के वार्ड, टीबी मरीजों समूह को गोद लेकर प्रेरित किया जाना है जिससे मरीज टीबी की जांच, उपचार, पोषण आहार आदि के प्रति अधिक जागरूक हो एवं निदान सेवाओं तक सुगमता से पहुंच पाए। इस प्रयास से बीमारी के संबंध में फैली हुई सामाजिक भ्रांतियों को भी दूर करने का प्रयास किया जाना है। सबसे महत्वपूर्ण यह है कि टीबी मरीजों को दवाइयों के अतिरिक्त बेहतर पोषण आहार की भी सहायता दी जानी है ।
वीओ 2 कोरिया जिले को टीबी उन्मूलन के क्षेत्र में बेहतर कार्य करने के लिए इस वर्ष राष्ट्रीय स्तर पर कांस्य पदक प्रदान किया गया है। वर्तमान में जिले में 521 टीबी संक्रमित मरीज पंजीकृत है। गोद लेने वालों को एक शपथ भी दिलाई जाएगी जिसमें हम कम से कम प्रति मरीज को छह माह या उपचार अवधि तक पोषण आहार, फूड बास्केट के लिये सहायता प्रदान करेंगे।

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