प्रदेश में नशे के अवैध करोबार को भी तहस-नहस करने का जिम्मा पुलिस अधीक्षकों
भोपाल
मध्य प्रदेश में एससी और एसटी वर्ग के खिलाफ हो रहे अपराधों पर अंकुश लगाने की कवायद अब बड़े पैमाने पर की जा रही है। इसके लिए प्रदेश में लगभग एक हजार हॉटस्पॉट में से एक्सट्रीम हॉटस्पॉट को छांट कर वहां पर विशेष रूप से नजर रखे जाने की व्यवस्था की गई है। इन क्षेत्रों में नशे के अवैध करोबार को भी तहस-नहस करने का जिम्मा पुलिस अधीक्षकों को दिया गया है।
दरअसल प्रदेश में अनुसूचित जाति और अनुसूचिज जनजाति वर्ग के खिलाफ होने वाले अपराधों के आंकड़ों को देखकर यह व्यवस्था की गई है। प्रदेश में एसस्ी वर्ग के खिलाफ अपराधों में पिछले साल मध्य प्रदेश देश में तीसरे नंबर पर था। एमपी में वर्ष 2021 में 7214 अपराध एससी वर्ग के खिलाफ हुए थे। वहीं अनुसूचित जनजाति वर्ग के खिलाफ हुए अपराधों में एमपी देश में नंबर एक पर था। यहां पर पिछले साल 2627 अपराध दर्ज हुए थे।
64 एक्स्ट्रीम हॉटस्पॉट
इस आंकड़े को देखने के बाद इस साल इन वर्ग के खिलाफ होने वाले अपराधों पर अंकुश लगाने के लिए प्रदेश भर में हॉटस्पॉट बनाए गए थे। प्रदेश में 906 हॉटस्पॉट बनाए गए थे। इसके बाद इसे और माइक्रो लेवल पर मॉनिटरिंग कर 64 एक्सट्रीम हॉटस्पॉट छांटे गए। पुलिस मुख्यालय इन एक्स्ट्रीम हॉटस्पॉट पर अब अपराध नहीं होने देना चाहता है। इसके लिए यहां से इन 64 एक्सट्रीम हॉटस्पॉट वाली रेंज और संबंधित जिलों के आईजी और पुलिस अधीक्षक को लगातार मॉनिटरिंग करने के निर्देश दिए गए हैं। वहीं यहां पर लगातार पुलिस पेट्रोलिंग भी करवाई जाएगी, ताकि अपराधों पर अंकुश लग सके।
नशे के अवैध कारोबार पर भी एक्शन
इसके साथ ही यह भी पाया गया कि नशे के अवैध करोबार भी इस वर्ग के खिलाफ अपराधों की संख्या बढ़ाने का काम करते हैं। इसलिए इन क्षेत्रों में नशे के अवैध कारोबार पर भी लगाम कसने का व्यापक अभियान चलाया जाएगा। इसके लिए क्षेत्र की पेट्रोलिंग पार्टी, बीट प्रभारी से लेकर थाना प्रभारी और डीएसपी स्तर तक के अफसरों को जुटाया गया है। पुलिस मुख्यालय की अजाक शाखा ने प्रदेश के 10 जिलों में अनुसूचित जाति जनजाति वर्ग के खिलाफ अपराध रोकने के लिए विशेष रूप से चिन्हित भी किया है।