सरकार की योजना के तहत पार्कों के ओपन जिम के हालात खस्ता
भोपाल
केंद्र सरकार की योजना के तहत शहर के विभिन्न क्षेत्रों के पार्कों में बनाए गए ओपन जिम में कहीं आपकी हड्डियां टूट न जाएं … इस बात का विशेष ध्यान रखिएगा, क्योंकि इनके नट बोल्ट ढीले हो चुके हैं। इनको काम चलाऊ बनाने के लिए रस्सी से सपोर्ट दिया जा रहा है। यह हालत किसी एक ओपन जिम की नहीं है। शहर के 139 पार्कों में ओपन जिम में से अधिकांश का यही हाल है। इनकी इस हालत की वजह उद्यान शाखा के अफसरों की लापरवाही बताई जा रही है। शाखा के अफसरों की उदासीनता के कारण इनका मेंटेनेंस नहीं किया जा रहा है। इस वजह से ओपन जिम का यह हाल हुआ है।
पहले भेल क्षेत्र में बनाया, फिर अन्य में
इस योजना के तहत सबसे पहला जिम भेल में बना था। उसके बाद ईदगाह हिल्स, कोहेफिजा, वर्धमान पार्क सहित अलग-अलग क्षेत्रों में बनाए गए। कई जगह लगे उपकरण टूट चुके हैं। ओपन जिम में लगे उपकरण महंगे है। प्रत्येक ओपन जिम में 11 अलग-अलग तरह की आधुनिक मशीनें हैं। इनकी देखरेख और सुरक्षा बेहद जरूरी है, लेकिन बजट के अभाव में इनका मेंटेनेंस नहीं किया जा रहा।
बदहाली का आलम
कोलार मंदाकिनी कॉलोनी गुलाब गार्डन में उपकरण को रस्सी से बांध कर सपोर्ट दिया गया। टीटी नगर दशहरा मैदान के पास महंगे उपकरण धूल रखा रहे हैं। शाहजहांनाबाद में आसपास झाड़िया उग रही हैं। इन स्थानों पर निगम द्वारा ट्रेनर रखने की बात भी कहीं गई थी, लेकिन ट्रेनर भी नहीं रखे
जा सके।