रूस से सस्ता तेल खरीद, भारत बढ़ा रहा पेट्रोलियम का निर्यात
नई दिल्ली
भारत कच्चे तेल के बड़े आयातक देशों में शामिल है। भारत अपनी जरुरत का 80 फीसदी हिस्सा आयात करता है, जबकि मात्र 20 फीसदी हिस्सा भारत में उत्पादित होता है। भारत अपने पुराने दोस्त रूस से सबसे अधिक तेल खरीदता है। पेट्रोल-डीजल की अधिकांश जरूरत विदेशों से आयात किए गए कच्चे तेल से पूरी की जाती है। वित्तीय वर्ष 2021-22 में भारत ने 119 अरब डॉलर का कच्चा तेल आयात किया। तेल मंत्रालय के पेट्रोलियम प्लानिंग ऐंड एनालिसिस सेल द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक साल 2021-22 में भारत ने कच्चे तेल पर बीते वित्त वर्ष की तुलना में लगभग दोगुना खर्च किया। तेल का बड़ा आयातक देश होने के साथ-साथ भारत में पेट्रोलियम प्रोडक्ट्स का निर्यात भी बढ़ा है।
बढ़ रहा है पेट्रोलियम प्रोडक्ट्स का निर्यात
देश की रिफाइनिंग क्षमता मजबूत होने के कारण भारत जो देश का बड़ा आयातक देश हैं, उसका पेट्रोलियम निर्यात भी बढ़ रहा है। कच्चे तेल की रिफाइनिंग के बाद बने प्रोडक्ट्स जैसे पेट्रोल ,डीजल, एलपीजी का निर्यात करता है। वित्तीय वर्ष 2021-22 में भारत ने 42.3 अरब डॉलर का पेट्रोलियम निर्यात किया। इस समयसीमा में भारत के पेट्रोलियम प्रोडक्ट्स का निर्यात 61.8 मिलियन टन रहा। भारत तीसरा सबसे बड़ा तेल आयातक देश है।
कच्चे तेल को आयात करके उसे रिफाइन कर वो पेट्रोलियम प्रोडक्ट्स को नीदरलैंड, ब्राजील, कांगो, इंडोनेशिया, साउथ अफ्रीका , इंडोनेशिया, फ्रांस, अमेरिका, चीन सहित कई देशों में भेजता है। भारत के कुल निर्यात में पेट्रोलियम प्रोडक्ट्स के निर्यात की हिस्सेदारी में भी बढ़ोतरी हो रही है। इसी साल अप्रैल-अगस्त के बीच भारत के कुल निर्यात में पेट्रोलियम प्रोडक्ट्स की हिस्सेदारी बढ़कर 21.2 प्रतिशत पर पहुंच गई, जो उसका सर्वोच्च स्तर रहा।
तीसरा सबसे बड़ा आयातक देश कैसे करता है निर्यात
भारत कच्चे तेल का तीसरा सबसे बड़ा आयातक देश है, लेकिन देश में पेट्रोलियम प्रोडक्ट्स का निर्यात भी धीरे-धीरे बढ़ रहा है। रिलायंस की जामनगर रिफाइनरी जो विदेशों से कच्चा तेल खरीदकर इसे रिफाइन करती है अपने प्रोडक्शन का अधिकांश हिस्सा निर्यात करती है। रिलायंस की जामनगर रिफाइनरी दुनिया की सबसे बड़ी कच्चे तेल की रिफाइनरी है। यहां एक दिन में करीब 13,60,000 बैरल कच्चे तेल को रिफाइन किया जाता है। इन रिफाइन प्रोडक्ट्स का अधिकांश हिस्सा विदेशों को निर्यात किया जाता है। रिलायंस के साथ-साथ निजी क्षेत्र की रिपाइनरी अच्छी खासी मात्रा में रिफाइन किए गए पेट्रोलियम प्रोडक्ट्स को निर्यात करती है। अगर पेट्रोलियम प्रोडक्ट्स के निर्यात का आंकड़ा देखें तो भारत के कुल निर्यात में इसकी हिस्सेदारी 21.2 प्रतिशत तक पहुंच गई है। भारत द्वारा निर्यात किए जाने वाले वस्तुओं में दूसरे नंबर पर रिफाइन किए गए पेट्रोलियम उत्पाद हैं। पेट्रोलियम प्रोडक्ट्स के निर्यात के टॉप 10 देशों में भारत शामिल है। कॉर्मस डिपार्टमेंट द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक अप्रैल से अगस्त के दौरान गैर पेट्रोलियम प्रोडक्ट्स के एक्सपोर्ट में 8.1 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई तो पेट्रोलियम प्रोडक्ट्स प्रोडक्ट्स के निर्यात में 22.8 प्रतिशत वृद्धि है।