मुख्तार अंसारी की 7 साल की सजा पर सुप्रीम कोर्ट ने लगाई रोक
नई दिल्ली
उत्तर प्रदेश के पूर्व विधायक विधायक मुख्तार अंसारी को सुप्रीम कोर्ट ने बड़ी राहत दे दी है. सुप्रीम कोर्ट ने मुख्तार अंसारी की ओर से दायर याचिका पर सुनवाई करते हुए 19 साल पुराने मामले में सजा पर रोक लगा दी है. सुप्रीम कोर्ट ने मुख्तार अंसारी के मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट के फैसले पर अंतरिम रोक लगा दी है.
सुप्रीम कोर्ट ने मुख्तार अंसारी की ओर से दायर याचिका पर सुनवाई करते हुए यूपी सरकार को नोटिस भेजा है. जस्टिस बीआर गवई और विक्रम नाथ की पीठ ने मुख्तार अंसारी की ओर से दायर याचिका पर सुनवाई की. जस्टिस बीआर गवई और जस्टिस विक्रम नाथ की पीठ ने मुख्तार अंसारी की याचिका पर सुनवाई करते हुए सजा पर रोक लगाते हुए यूपी सरकार को नोटिस जारी किया है.
गौरतलब है कि मुख्तार अंसारी को साल 2003 में जेलर को धमकाने और रिवॉल्वर तानने के मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट ने सजा सुनाई दी थी. इलाहाबाद हाईकोर्ट ने मुख्तार अंसारी को इस मामले में सात साल की सजा सुनाई थी. मुख्तार अंसारी ने इलाहाबाद हाईकोर्ट के फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट का रुख किया.
मुख्तार अंसारी ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल कर इलाहाबाद हाईकोर्ट के फैसले को चुनौती दी थी. मुख्तार अंसारी की याचिका पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने इलाहाबाद हाईकोर्ट की ओर से सुनाई गई सात साल की सजा पर अंतरिम रोक लगा दी है. सुप्रीम कोर्ट ने यूपी सरकार को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है.
हाईकोर्ट ने पलट दिया था निचली अदालत का फैसला
इलाहाबाद हाईकोर्ट ने निचली अदालत का फैसला पलट दिया था. मुख्तार अंसारी को साल 2003 में जेलर को धमकाने और उस पर रिवॉल्वर तान देने के आरोप में दर्ज मामले में निचली अदालत ने बरी कर दिया था. निचली अदालत के फैसले के बाद मामला इलाहाबाद हाईकोर्ट पहुंच गया था. इलाहाबाद हाईकोर्ट ने निचली अदालत के फैसले को पलटते हुए मुख्तार अंसारी को सात साल की सजा सुनाई थी.