अतिथि शिक्षक संघ का राजनगर में उग्र आंदोलन सौंपा ज्ञापन, मांग पूरी ना होने पर भाजपा को वोट ना देने का लिया संकल्प
खजुराहो
अतिथि शिक्षक संघ ने अपनी लंबित मांगों को लेकर मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन राजनगर एसडीएम को सौंपा हैं। इसमें बताया हैं कि शासकीय विद्यालयों में हम 14 वर्षों से हजारों अतिथि शिक्षक अल्प मानदेय में अपनी सेवाएं दे रहे हैं। और बच्चों का भविष्य संभाल रहे हैं लेकीन फिर भी अतिथि शिक्षकों का भविष्य सुरक्षित करने हेतु कोई नीति नहीं बनाई गई है। इससे अतिथि शिक्षकों के परिवार में गहराते आर्थिक संकट व अंधकारमय भविष्य के प्रति चिंता बढ़ती जा रही है, साथ ही शिक्षक संघ बोला कि अगर हमारी मांग पूरी नहीं की जाती है तो हम लोग भोपाल में उग्र आंदोलन करने के लिए बाध्य होंगे साथ ही हम और हमारा परिवार जीवन भर भाजपा को वोट नहीं देंगे अगर हमारी मांग नहीं मानी जाती हैं तो अतिथि शिक्षक संघ की यह भी मांग है की छत्तीसगढ़ हरियाणा राजस्थान सहित अन्य राज्यों की तरह अतिथि शिक्षकों के भविष्य को सुरक्षित करने का निर्णय लिया जाय, साथ ही स्कूल अतिथि शिक्षकों के लिए नीति बनाकर गुरु जी की तर्ज पर भविष्य सुरक्षित / पद स्थायित्व करने हेतु संबंधित अधिकारियों को उचित कार्यवाही करने के आदेश या निर्देश देने का कष्ट किया जाय।
अतिथि शिक्षक संघ की यह हैं प्रमुख मांगे-
अतिथि शिक्षक जिस पद पर कार्यरत है उसे रिक्त ना मानते हुए 12 माह का सेवाकाल / पद स्थायित्व/ वेतन वृद्धि दुगना किया जाए जो अतिथि शिक्षक बाहर हो गए हैं उन्हें कार्य पर रखा जाए।
प्रमुख मांग- विभागीय पात्रता परीक्षा आयोजित करने हेतु उचित मापदंड 1 कार्य अनुभव के आधार पर विभागीय पात्रता परीक्षा प्राथमिक माध्यमिक उच्च माध्यमिक शिक्षकों के पद पर आयोजित की जाए कार्य अनुभव के आधार पर प्रतिवर्ष अनुसार 3 अंक देकर अधिकतम 10 वर्षों में 30 अंक बोनस के प्रदान किए जाएंविभागीय पात्रता परीक्षा उत्तीर्ण अंक 33% रखा जाए
ज्ञापन देने में यह लोग रहे प्रमुख रूप से मौजूद
सत्यम खरे, रविंद्र मिश्रा ,विकास दीक्षित, सौरभ अवस्थी