प्रदेश सरकार का नया प्रयोग “सप्ताह का धागा”,हर सोमवार मंत्री भूपेंद्र सिंह के साथ
भोपाल
राजनीति में जनता से जुड़ाव एक बेहद उपयोगी प्रयोग माना जाता है। केंद्र के मोदी सरकार (Modi Government) द्वारा इस प्रयोग को काफी पहले अपनाया जा चुका है। दरअसल मोदी सरकार ने मन की बात (Maan ki baat) के जरिए आम जनता से संपर्क बनाने का काम किया। वही अब मध्य प्रदेश (MP) में इसी तर्ज पर एक नया प्रयोग “सप्ताह का धागा” शुरू किया जा रहा है। विधानसभा चुनाव से यह पहले प्रयोग मध्य प्रदेश सरकार के लिए काफी लाभकारी साबित हो सकता है।
दरअसल प्रदेश के नगरीय विकास और आवास मंत्री भूपेंद्र सिंह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मन की बात की तर्ज पर अब हर “सप्ताह का धागा” कार्यक्रम में प्रदेश की आम जनता से रूबरू होंगे। इस दौरान भूपेंद्र सिंह मन की बात के स्थान पर सप्ताह का धागा पिरोयेंगे। दरअसल सप्ताह के पहले दिन सोमवार को पूरे सप्ताह की कार्यशैली की बात को भूपेंद्र सिंह ट्वीट के जरिए जनसाधारण तक इस बात को साझा करेंगे।
इसकी शुरुआत नगरीय विकास और आवास मंत्री भूपेंद्र सिंह ने सावन के तीसरे सोमवार को कर दी है। नगरीय विकास और आवास मंत्री भूपेंद्र सिंह ने पंचायत और नगरीय निकाय चुनाव में बीजेपी की सफलता और बहुमत पर एक तरफ जहां प्रदेश की जनता को धन्यवाद दिया है। वही Tweet के माध्यम से कांग्रेस पर जमकर निशाना साधा है। दरअसल भूपेंद्र सिंह ने पहला “सप्ताह का धागा” की ताने-बाने के साथ शुरू की है।
दरअसल भूपेंद्र सिंह द्वारा “सप्ताह का धागा” का शीर्षक था “मध्यप्रदेश ने खुद बता दिया कौन और क्यों चाहिए”। विधानसभा चुनाव से पहले यह एक बड़ा प्रयोग साबित हो सकता है। इसके अलावा कांग्रेस की तरफ से भी लगातार शिवराज सरकार पर दोषारोपण करते हुए कहा जाता है कि मध्य प्रदेश की जनता ने तय कर दिया कि उसे कौन और क्यों चाहिए। भूपेंद्र सिंह का ये शीर्षक स्पष्ट रूप से कांग्रेस के इस “सवाल का जवाब” माना जा सकता है।
वही मोदी के मन की बात और भूपेंद्र सिंह के इस सप्ताह का धागा में अंतर महज इतना है, हर PM Modi महीने के आखिरी रविवार को रेडियो टीवी पर सुबह 11:00 बजे देश-दुनिया को संबोधित करते हैं जबकि भूपेंद्र सिंह ट्वीट के जरिए सप्ताहिकी तौर पर अपनी बात रखेंगे। भूपेंद्र सिंह शाम 5:00 बजे हर सोमवार को ट्वीट के जरिए सप्ताह का धागा पिरोएंगे।
सोमवार को “सप्ताह का धागा” में भूपेंद्र सिंह निकाय-त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव परिणाम पर विस्तृत उल्लेख करते हुए कहा कि चुनाव परिणाम सिर्फ हार जीत के आंकड़े नहीं होते हैं। बीजेपी के ऐतिहासिक जीत में नागरिकों का फैसला छिपा हुआ है और उन्होंने अपने फैसले में षड़यंत्र, झूठ, फरेब को अलग कर बीजेपी को एक बार फिर से मौका देने का फैसला किया है। सप्ताह का धागा पिरोते हुए मंत्री भूपेंद्र सिंह ने कहा कि मध्य प्रदेश की जनता ने कांग्रेस को विपक्ष के लायक भी नहीं समझा। बीजेपी की ऐतिहासिक जीत का श्रेय संगठन के हर एक कार्यकर्ता को जाता है।
अंत्योदय से अटल पथ पर आगे बढ़ने की बीजेपी की कार्यशैली मध्य प्रदेश की जनता पसंद कर रही है। जहां एक समय में शहरों को सड़क नसीब नहीं होता था, वहां अब गांव तक पक्की सड़कों का निर्माण हो रहा है। कच्चे मकान और झोपड़ी पक्के मकान में बदल रहे हैं और गरीब लोग भी सम्मान और स्वाभिमान से गुजर बसर कर रहे हैं। केंद्र और प्रदेश सरकार के माध्यम से किसान को सम्मान निधि सहित बिजली की उपलब्धता का लाभ मिल रहे जबकि अतिवृष्टि वालों के समय भी सरकार अपने लोगों के साथ खड़ी है।
भूपेंद्र सिंह ने सरकार की कार्यशैली पर विस्तृत उल्लेख करते हुए कहा है कि मध्यप्रदेश की धरती पर देश की लाडली लक्ष्मी का संदेश दिया है और मध्यप्रदेश की धरती से यह संदेश जाना वाकई बड़ी बात है। बेटियां पढ़ रही है, आगे बढ़ रही है। सरकार के अन्य योजनाओं का उल्लेख करते हुए भूपेंद्र सिंह ने कहा कि शिक्षा-समानता, स्वास्थ्य सुविधाएं सहित रोजगार की संभावनाओं में भी प्रदेश आगे बढ़ रहा है। संबल योजना से गरीब परिवारों को साथ का लाभ दिया गया है और अंत्योदय सहित अन्य फैसलों के बाद नागरिकों ने अपना एक तरफा फैसला भी प्रदेश सरकार के पक्ष में सुनाया है।
कांग्रेस को अस्पष्टता से जवाब देते हुए ट्वीट के माध्यम से मंत्री भूपेंद्र सिंह ने कहा कि कांग्रेस अभी भी राजनीति को सत्ता सुख और दमन का माध्यम मान रही है जो कि बेहद अफसोस जनक है। दिग्विजय सिंह पर कड़ा प्रहार बोलते हुए मंत्री सिंह ने कहा कि प्रदेश भर की हार की खीज भोपाल में सामने आ गई। वहीं उन्होंने उम्मीद जताई है कि कांग्रेस यदि विपक्ष भी नहीं बन सकी है तो उसे सत्ता को सेवा के माध्यम से स्वीकार्य करना होगा। हालांकि भूपेंद्र सिंह ने कहा है कि कांग्रेस ने ऐसे असंभव बदलाव की उम्मीद भी एक तरह से बेमानी है।
हालांकि भूपेंद्र सिंह द्वारा शुरू की गई यह व्यवस्था प्रदेश सरकार की कार्यशैली जन जन तक पहुंचाने के लिए बेहद कारगर साबित हो सकती है। इसके अलावा सप्ताहवार कार्ययोजना और कार्यशैली का स्पष्ट उल्लेख भी जनता को देखने को मिलेगा। राजनीति में जनता से रूबरू होना कहीं ना कहीं सरकार के लिए बेहद फायदेमंद साबित होता है। अब ऐसी स्थिति में सत्ता के धागा कार्यक्रम में एक तरफ जहां राज्य शासन की कार्यशैली और उनके शासकीय योजनाओं की वाहवाही पिरोही जाएगी। वहीं दूसरी तरफ विपक्ष को कटघरे में खड़ा करने का काम भी निश्चित तौर पर किया जाएगा।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मन की बात की तर्ज पर भूपेंद्र सिंह का सप्ताह का धागा शुरु हो चुका है। वही इस कार्यक्रम की सफलता होने के बाद माना जा रहा है कि दूसरे मंत्री भी अपनी बात रखने के लिए इस पर अमल और प्रक्रिया शुरू कर सकते हैं। अब आने वाले समय में बीजेपी और शिवराज सरकार को इस कार्यक्रम से कितना लाभ होगा, यह तो समय ही बताएगा। फिलहाल मध्यप्रदेश में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव और निकाय चुनाव में बीजेपी की प्रचंड जीत कहीं ना कहीं जनता के सोच को प्रदर्शित कर दिया है। वहीं कांग्रेस की राह कठिन नजर आ रही है। जिस पर कांग्रेस एक बार फिर नई प्रक्रिया की तैयारी में होगी।