September 28, 2024

मैं महार रेजिमेंट को अपना अभिभावक मानता हूं – सीएम पुष्कर सिंह धामी

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सागर
 उत्तराखंड के सीएम पुष्कर सिंह धामी (CM Pushkar Singh Dhami) मध्य प्रदेश के सागर जिले के दौरे पर पहुंचे. सीएम धामी का बचपन सागर में गुजरा है. उनके पिता शेरसिंह महार रेजीमेंट सागर में सूबेदार थे. सीएम की कक्षा 8वीं से 10वीं तक की पढ़ाई सागर में डीएनसीबी स्कूल में हुई. इस दौरान महार रेजीमेंट से लेकर स्कूल और उनके मित्रों में उत्साह देखने को मिला. सागर के राठौर परिवार के साथ सीएम ने कुछ समय बिताए.

'परिश्रम नहीं जाता व्यर्थ'
सीएम पुष्कर सिंह धामी ने महार रेजिमेंट के दौरे के दौरान सैनिक सम्मेलन में कहा कि मैं सागर की भूमि को नमन करता हूं. जिसके कारण आज मैं यहां तक पहुंचा. उन्होंने कहा कि परिश्रम जहां होता है, वहां सफलता मिलती है, इसलिए हमेशा परिश्रम पूरी ईमानदारी और पराक्रम के साथ करें. सीएम ने कहा कि सैनिक कभी पूर्व नहीं होता, सैनिक की आवश्यकता हमेशा देश के लिए होती है. आज उन्हीं के पराक्रम के कारण पूरा भारत देश चैन की नींद ले रहा है. सेना के साहस, वीरता, पराक्रम और बलिदान पर देश को अभिमान है. सेना के समर्थ, समरस ,शक्तिशाली भारत से नया भारत बन रहा है.

सीएम ने कहा, 'नहीं भूल सकता कभी सेना को'
सीएम पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि सागर में मेरा बचपन ही सेना के साथ शुरू हुआ .मैं महार रेजिमेंट को अपना अभिभावक मानता हूं और नए सैनिकों को अपना साथी. उन्होंने कहा कि सेना के वेतन से मेरी प्रारंभिक पढ़ाई हुई और सेना की पेंशन से मेरी उच्च शिक्षा हुई. मैं सेना को कभी नहीं भूल सकता .उन्होंने कहा कि पूर्व सीडीएस स्वर्गीय श्री विपिन रावत मेरे पारिवारिक अभिभावक थे. उनका मार्गदर्शन हमेशा मुझे एवं मेरे परिवार को मिलता रहा है.  आज वह नहीं है, उनको मैं श्रद्धांजलि अर्पित करता हूं .मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि अनुशासन, परिश्रम ,ईमानदारी मेरे जीवन का एक अंग है और यह सब मुझे महार रेजीमेंट की सेना से ही प्राप्त हुआ है . उन्होंने कहा कि सैनिक का जज्बा, सैनिक का खून एवं सैनिक का परिश्रम कभी हार नहीं मानता.

महार रेजीमेंट के पराक्रम की दुनिया में चर्चा
सीएम धामी ने कहा कि हमारे महार रेजीमेंट के साथ ही भारत की सेना के पराक्रम की पूरे दुनिया में चर्चा रहती है. सैनिकों के परिश्रम से भारत माता को कोई नुकसान नहीं पहुंचा सकता. सैनिकों  के कारण ही पूरा भारत चैन की नींद ले रहा है और लेता रहेगा. मुख्यमंत्री एमआरसी में हुए भावुक सीएम धामी ने कहा कि एमआरसी की याद हमेशा बनी रहती है, मैं एमआरसी को अपने परिवार का सदस्य मानता हूं.  मैं अपने बचपन की यादगार पल को हमेशा याद रखूंगा. एमआरसी के सभी अधिकारी हमारे अभिभावक है और सैनिक हमारे साथी. मैं एमआरसी के सभी अधिकारियों को कोटि-कोटि प्रणाम करता हूं. इसी प्रकार  आप सबके बीच  आगे भी सागर आता रहूंगा.

सागर मेरी राजनीति की प्रथम पाठशाला

उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि सागर उनकी राजनीति की प्रथम पाठशाला रही है. यही कारण है कि आज सागर आकर बचपन की यादें ताजा हो गई. मेरे मित्र यहां से राजनीति के माध्यम से विधायक और अन्य पदों पर रहे. उन्होंने कहा कि सागर वास्तव में सागर है. इसका हृदय सागर जैसा है. आज जब मैं सागर आया हूं, तब मैंने देखा कि मेरे बचपन के सभी मित्रों ने एकजुट होकर मेरी अगवानी की. उन्होंने सेवानिवृत्त सूबेदार इंद्रपाल सिंह और कर्नल पीपी शर्मा से उनके सेवानिवृत्ति के बाद के अनुभव शेयर किए. इसके अलावा उनके सेना में रहते हुए कार्यों के बारे में जानकारी प्राप्त की.

अनेक कार्यक्रमों में लिया हिस्सा
मुख्यमंत्री धामी ने सागर महार रेजिमेंट में शहीद स्मारक पर जाकर शहीद हुए सैनिकों को पुष्पचक्र अर्पित कर श्रद्धांजलि दी. धामी ने शहीद स्मारक के समीप ही महोगनी का पौधा लगाकर पौधरोपण किया. पूर्व सैनिकों से चर्चा की एवं उनके अनुभव की जानकारी प्राप्त की.मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने म्यूजियम पहुंचकर महार रेजीमेंट एवं सेना के संबंध में बनाई गई लघु फिल्म के बारे में कर्नल अविनाश आचार्य से विस्तार से जानकारी प्राप्त की. उन्होंने म्यूजियम में लगाई गई स्मृतियों को भी देखा. इस अवसर पर लेफ्टिनेंट जनरल सी वंशी पुन्नपा, ब्रिगेडियर नवनीत जरियाल ,डिप्टी कमांडेंट उमंग कुमार चौधरी, कर्नल अविनाश आचार्य, मेजर नवतेज सिंह, सहित अन्य सैन्य अधिकारी मौजूद थे.   

राठौर परिवार से मिलने पहुंचे सीएम
मुख्यमंत्री धामी ने अपने मित्र और पूर्व विधायक हरवंश सिंह राठौर के निवास पर जाकर मिले. उन्होंने कहा कि इस परिवार से शुरू से जुड़े रहे हैं. राठौर परिवार ने उनका स्मृति चिन्ह और शाल श्रीफल से स्वागत किया. यहां पर सागर की मेयर संगीता तिवारी, सांसद राजबहादुर सिंह, जिला बीजेपी अध्यक्ष गिराव सिरोठिया सहित अनेक जनप्रतिनिधियों और उनके पुराने साथियों ने मुलाकात की.

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