September 27, 2024

आवास में व्यवसाय को नियमानुसार वैध कर अपना खजाना भरेगा निगम

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भोपाल

नगर निगम अपने खाली खजाने को भरने के लिए आवास में व्यवसाय करने वाले प्रतिष्ठानों को नियमानुसार वैध कर सकता है। इस मामले में कार्रवाई शुरू हुई है। मुख्य फोकस अरेरा कॉलोनी पर है। यहां पहले भी कुछ प्रतिष्ठानों को व्यवसाय के लिए परमिशन दी गई है लेकिन कई व्यवसाय अभी भी अवैध रूप से चल रहे हैं।

अरेरा कॉलोनी, एमएलए क्वार्टर्स, इंद्रपुरी, पिपलानी समेत कई क्षेत्रों में लीज शर्तों को दरकिनार कर वाणिज्यिक गतिविधियां की जा रही हैं। अरेरा कॉलोनी में ई 1 से ई 5 तक कुल 1463 प्लॉट हैं। इनमें से 43 के मालिकों ने टीएंडसीपी से उपयोग परिवर्तन पहले करा लिया था। इसके बाद नगर निगम ने उनको कमर्शियल यूज के लिए बिल्डिंग परिमशन दे दी। निगम के सर्वे में सामने आया था कि 83 भूखंड पर बने भवनों में वाणिज्यिक गतिविधियां चल रही हैं। इनमें 27 पर हॉस्पिटल व निर्संग होम, 12 पर बैंक, 37 में शॉपिंग सेंटर व दुकानें, पांच पर होटल और दो प्लॉट पर आफिस खुले हैं। यह बिना किसी अनुमति किया गया। ऐसे मामलों पर विचार के लिए मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैंस की अध्यक्षता में कमेटी भी बनाई गई। आवासीय उपयोग की जमीन पर चल शोरूम, दुकानों के खिलाफ नगर निगम ने पिछले साल कार्रवाई की थी।

नगर निगम अब आवासों में चल रहे व्यापारिक प्रतिष्ठानों को रेगुलर करने की तैयारी कर रहा है, ताकि उससे बड़ा राजस्व मिल सके। शहर में एक लाख से अधिक आवासीय प्लॉट पर व्यावसायिक गतिविधियां चल रही हैं। अब निगम फीस लेकर इनको नियमित करने की तैयारी कर रहा है। इसके लिए शासन की अनुमति मांगी है। हालांकि, यह फायदा उन्हीं आवासीय भवनों के लिए मिल पाएगा, जो 12 मीटर या उससे अधिक चौड़े मार्गों पर स्थित हैं।

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